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बाघ ने खा लिया अजगर, पचा नहीं पाया तो करने लगा उल्टियां, देखें शिकार का Video

जानकारी के अनुसार, यह घटना बृहस्पतिवार सुबह पर्यटन की पहली शिफ्ट के दौरान हुई. कुछ सैलानियों ने देखा कि एक बाघ ने अजगर को मारकर उसे खा लिया. वीडियो में साफ दिख रहा है कि अजगर खाने के बाद बाघ असहज महसूस कर रहा था और उसने उल्टी भी की.

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Edited By: Gyanendra Sharma
Viral News
Courtesy: Social Media

पीलीभीत टाइगर रिजर्व (पीटीआर) एक बार फिर सुर्खियों में है. इस बार वजह है एक वायरल वीडियो, जिसमें एक बाघ अजगर खाने के बाद असहज और बीमार नजर आ रहा है. यह घटना पीटीआर के पर्यटन क्षेत्र में पक्की पटरी मार्ग पर घटी, जहां सैलानियों ने इस हैरान करने वाले दृश्य को अपने कैमरों में कैद किया. वीडियो के सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद वन विभाग हरकत में आया और बाघ की निगरानी के लिए तुरंत कैमरे लगाए गए.

जानकारी के अनुसार, यह घटना बृहस्पतिवार सुबह पर्यटन की पहली शिफ्ट के दौरान हुई. कुछ सैलानियों ने देखा कि एक बाघ ने अजगर को मारकर उसे खा लिया. वीडियो में साफ दिख रहा है कि अजगर खाने के बाद बाघ असहज महसूस कर रहा था और उसने उल्टी भी की. यह दृश्य देखकर सैलानी हैरान रह गए और उन्होंने इसे अपने कैमरों में रिकॉर्ड कर लिया. देखते ही देखते यह वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से फैल गया, जिसके बाद पीलीभीत टाइगर रिजर्व के अधिकारियों ने तत्काल कार्रवाई शुरू की.

वन विभाग ने शुरू की निगरानी
वीडियो के वायरल होने के बाद पीलीभीत टाइगर रिजर्व के डिप्टी डायरेक्टर (डीएफओ) मनीष सिंह ने मामले को गंभीरता से लिया. उन्होंने संबंधित क्षेत्र में तुरंत ट्रैप कैमरे लगाने के निर्देश दिए ताकि बाघ की गतिविधियों और स्वास्थ्य की स्थिति पर नजर रखी जा सके. सूत्रों के मुताबिक, वन विभाग इस बात की जांच कर रहा है कि अजगर खाने से बाघ की तबीयत क्यों बिगड़ी और क्या उसे किसी तरह की चिकित्सा सहायता की जरूरत है. डीएफओ मनीष सिंह ने बताया कि बाघ की निगरानी के लिए विशेष टीमें तैनात की गई हैं और स्थिति पर कड़ी नजर रखी जा रही है.

पीटीआर में बाघों की स्थिति
पीलीभीत टाइगर रिजर्व उत्तर प्रदेश का एक प्रमुख वन्यजीव अभयारण्य है, जो बाघों की बढ़ती संख्या के लिए जाना जाता है. यह क्षेत्र अपनी प्राकृतिक सुंदरता और वन्यजीवों की विविधता के कारण देश-विदेश के पर्यटकों के बीच लोकप्रिय है. हाल के वर्षों में पीटीआर को बाघ संरक्षण के लिए अंतरराष्ट्रीय पुरस्कार भी मिले हैं. हालांकि, समय-समय पर बाघों के मानव बस्तियों के पास आने या ऐसी असामान्य घटनाओं के कारण यह क्षेत्र चर्चा में रहता है.