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भारत के इस गांव में नहीं है एक भी दरवाजा, घर पर गेट लगाने की कोशिश करने पर आती है...

Viral: गांववाले संत के आशीर्वाद पर पूरी श्रद्धा और विश्वास रखते हैं. दशरथ सिंह, एक और निवासी, बताते हैं कि यहां के लोग संत के शब्दों का सम्मान करते हैं और किसी ने भी अपनी परंपरा को तोड़ने की कोशिश नहीं की. दरवाजे के बिना जीवन यापन करना यहां के लिए एक सम्मान की बात है.

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Viral: क्या आप कभी ऐसी जगह की कल्पना कर सकते हैं, जहां किसी भी घर में दरवाजा न हो? और ऐसा पूरा मोहल्ला हो, जहां कोई भी घर बिना दरवाजे के हो? यह सुनने में शायद अजीब लगे, लेकिन राजस्थान के भीलवाड़ा जिले के एक गांव में ऐसा सच में है.

राजस्थान के मंडलगढ़ तहसील स्थित सरण का खेड़ा गांव में लगभग 300 सालों से किसी भी घर में दरवाजा नहीं है. यह सुनकर हैरान करने वाली बात लगती है, लेकिन यहां पर ऐसा कोई चोरियां नहीं हुई हैं. यह गांव अपनी एक अनोखी परंपरा और विश्वास के लिए प्रसिद्ध है.

संत के आशीर्वाद ने बदल दी गांव की किस्मत

गांववाले मानते हैं कि लगभग 300 साल पहले एक संत गांव में आए थे. संत ने गांववालों की आस्था और मेहमाननवाजी को देखकर उन्हें आशीर्वाद दिया था और कहा था कि यहां कभी भी चोरी नहीं होगी. संत के आशीर्वाद के बाद, गांववालों ने किसी भी घर में दरवाजा न लगाने का निर्णय लिया. तभी से यह परंपरा चली आ रही है, और आज तक इस गांव में किसी भी घर में दरवाजा नहीं है.

गांव में चोरी का कभी नहीं हुआ कोई मामला

गांव के निवासी शंकर सिंह बताते हैं कि सरण का खेड़ा में आज भी यह परंपरा कायम है और यहां 100 से अधिक परिवार बिना दरवाजे के रहते हैं. उन्होंने कहा कि बचपन से वे यह देखते आए हैं कि कोई भी चोर यहां चोरी करने आता है, तो उसे किसी न किसी तरीके से पकड़ लिया जाता है. ऐसा लगता है जैसे गांव में कोई बुरी शक्ति चोरी करने का विरोध करती है.

दरवाजे लगाने की कोशिश करने पर आई मुसीबतें

कुछ लोगों ने पहले दरवाजे लगाने की कोशिश की थी, लेकिन उनके घरों में बीमारी या अन्य समस्याएं आ गईं, जिसके बाद उन्होंने दरवाजे को हटाकर पारंपरिक तरीके को फिर से अपनाया. गांववाले मानते हैं कि संत का आशीर्वाद उनके साथ है और अगर किसी ने परंपरा तोड़ी तो उन्हें कठिनाइयों का सामना करना पड़ा. कुछ घरों में तो दरवाजे का निर्माण कभी पूरा नहीं हो पाया.