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Watch: पीएम मोदी ने पूछी जिलों की राजधानी, वायरल वीडियो पर विपक्षियों ने घेर लिया

PM Modi Viral Clip: पीएम मोदी ने शनिवार को ओडिशा में जनसभा को संबोधित करते हुए कुछ ऐसा बोल दिया कि सोशल मीडिया यूजर्स उन्हें ट्रोल कर रहे हैं.

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Edited By: India Daily Live
PM Modi

PM Modi Viral Clip: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बरगढ़ में एक जनसभा को संबोधित किया. इस रैली में पीएम मोदी बीजेडी सरकार पर हमला बोलते हुए मुख्यमंत्री नवीन पटनायक पर ऐसा कुछ बोल गए कि सोशल मीडिया पर ट्रोल हो गए. पीएम मोदी ने नवीन पटनायक पर हमला करते हुए बोले के अगर पटनायक जी को बिना कागज दिए ओडिशा के जिलों की राजधानियां पूछी जाए. फिर क्या यही मौके पाकर सोशल मीडिया यूजर्स ने पीएम को ट्रोल कर दिया. विपक्ष ने भी उन्हें घेरा. बीजेडी के नेताओं ने उनके इस क्लिप को शेयर करके सोशल मीडिया पर हमला बोला.

पीएम मोदी के इस बयान की वीडियो क्लिप को लेकर सोशल मीडिया यूजर्स हमलावर हैं. पीएम मोदी शायद राज्यों की राजधानी बोलना चाहते थे लेकिन गलती से जिलों की राजधानी निकल गया.  जिले की राजधानी होती नहीं. तो सोशल मीडिया यूजर्स ने यही वीडियो शेयर कर करके उन्हें ट्रोल कर दिया.

नवीन बाबू से पूछिए जिलों की राजधानी

पीएम मोदी ने अपनी नवीन पटनाक पर बोलते हुए कहा- जरा नवीन बाबू को कहीं खड़ा कर दीजिए. और उनको बिना कागज लिए उनको कहिए कि आप ओडिशा के जिलों के नाम बोलिए और जिलों के कैपिटल के नाम बोलिए.

प्रधानमंत्री मोदी का ये बयान सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है. इस वीडियो क्लिप को शेयर करके लोग तरह-तरह के कमेंट कर रहे हैं.  

बर्बाद हो रहा है ओडिशा

पीएम मोदी ने अपने संबोधन में सरकार की उपलब्धियों को गिनाया और बीजेपी सरकार पर जमकर हमला बोला. उन्होंने कहा कि ये क्षेत्र किसानों और कुशल बुनकरों की धरती है.

उन्होंने आगे कहा-  प्रकृति ने भी यहां सब कुछ दिया है. लेकिन नवीन सरकार ने 'भात हांडी' को खाली कर दिया है. सब कुछ बीजेडी के नेताओं की तिजोरी में चला गया है.ओडिशा बर्बाद हो रहा है. 25 साल बर्बाद हो गए हैं. पिछले 5 साल में पूरी तरह से ओडिशा पर बाहरी लोगों ने कब्जा किया है.

जगन्नाथ मंदिर का जिक्र

पीएम मोदी ने ओडिशा के जगन्नाथ मंदिर का जिक्र करते हुए नवीन पटनायक सरकार पर हमला बोला. उन्होंने कहा- श्री रत्न भंडार में अकूत धन-दौलत है. लेकिन, उसकी सही स्थिति सामने नहीं आ रही है. ओडिशा सरकार श्री रत्न भंडार की जांच रिपोर्ट को सामने नहीं आने दे रही है. आखिर ओडिशा सरकार किसका हित साध रही है."