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8 कर्मचारियों वाली इस कंपनी के IPO पर टूट पड़े लोग, लगा डाले 4800 करोड़ रुपये, आखिर क्यों हैरान हैं सभी?

Resourceful Auto IPO: Resourceful Auto IPO: महज 3 दिनों के भीतर रिसोर्सफुल ऑटो के आईपीओ को जबरदस्त रिस्पांस मिला है. इसमें खुदरा निवेशकों ने खूब पैसा लगाया है. यही वजह है कि 12 करोड़ के इस एसएमई आईपीओ का ओवरऑल 418 गुना से अधिक सब्सक्राइब हो गया है. खास बात ये है कि ग्रे मार्केट में भी इसके शेयर 90% प्रीमियम पर हैं.

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Edited By: India Daily Live
Resourceful Auto IPO
Courtesy: Twitter

Resourceful Auto IPO: जिन कंपनियों के फंडामेंटल काफी स्ट्रांग होते हैं, उनके आईपीओ को निवेशक पसंद करते हैं और रिस्पांस भी जबरदस्त मिलता है, लेकिन इस वक्त एक ऐसा आईपीओ चर्चा में है, जो खुलते ही छा गया. इस आईपीओ का फंडामेंटल तो कमजोर दिखता है, लेकिन इस पर निवेशक टूट पड़े और ताबड़तोड़ रिस्पांस मिला. ये आईपीओ रिपोर्सफुल ऑटोमोबाइल का है, जिसके दिल्ली में सिर्फ 2 शो रूम हैं और कुल 8 कर्मचारी हैं, इसके बाद भी आईपीओ ओवरऑल 418 गुना से ज्यादा सब्सक्राइब हो गया है, जिसे देख सभी हैरान हैं.

दरअसल, दोपहिया वाहन डीलरशिप, रिसोर्सफुल ऑटोमोबाइल के आईपीओ को मिली बोलियों से निवेशक हैरान हो गए हैं. इतना ही नहीं इसने दलाल स्‍ट्रीट के बड़े-बड़े दिग्‍गजों का माथा भी घुमा दिया है. आपको जानकर हैरानी होगा कि सिर्फ 12 करोड़ के इस एसएमई आईपीओ को लगभग 4,800 करोड़ रुपये की बोलियां मिली हैं, जो इसके आकार से 400 गुना ज्यादा हैं.

दिल्ली की कंपनी है रिसोर्सफुल ऑटोमोबाइल

रिसोर्सफुल ऑटोमोबाइल दिल्ली की कंपनी की है. इसके पास केवल दो डीलरशिप हैं और आठ कर्मचारी हैं. इस आईपीओ पर लोग क्यों टूट पड़े इसका स्पष्ट कारण नहीं दिखता. इसलिए लोग हैरान हैं. लोग इस बात की खोजबीन में जुट गए हैं कि आखिर इस आईपीओ में ऐसा क्या था कि यह 400 गुना सब्सक्राइब हो गया.

117 रुपये प्रति शेयर की दर

बता दें कि रिसोर्सफुल ऑटोमोबाइल ने 117 रुपये प्रति शेयर की दर से 10.2 लाख शेयरों की पेशकश की थी. यह इश्यू 22 अगस्त को खुला था, जो 26 अगस्त को बंद हुआ. बंबई स्टॉक एक्सचेंज के आंकड़ों के अनुसार, जब सोमवार शाम को सब्सक्रिप्शन विंडो बंद हुई, तो कुल 40.8 करोड़ शेयरों की बोलियां आ चुकी थीं. इसमें हाई नेटवर्थ इंडिविजुअल (HNI) के लिए रिजर्व हिस्‍से को 150 गुना बोलियां मिलीं. खासकर रिटेल इनवेस्‍टर्स ने इस आईपीओ में खूब पैसा लगाया है.