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पूरे देश में लागू होगी 'बायोमेट्रिक आधार ऑथेंटिकेशन', पढ़ें GST काउंसिल की बैठक में हुए 7 बड़े फैसले

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की अध्यक्षता में आज जीएसटी काउंसिल की 53वीं बैठक हुई. इस बैठक में व्यापार को आसान बनाने और टैक्सपेयर्स के हित में कई बड़े फैसले लिये गए. हालांकि कुछ फैसलों से आम जन को निराशा भी हाथ लगी. काउंसिल में छोटे करदाताओं के लिए रिटर्न जमा करने की समय सीमा को 30 अप्रैल से बढ़ाकर 30 जून करने की सिफारिश की गई है.

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Edited By: India Daily Live
GST Council Meeting
Courtesy: PTI

GST Council Meeting: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने फर्जी चालान पर रोक लगाने के लिए शनिवार को जीएसटी काउंसिल की बैठक में पूरे देश में बायोमेट्रिक आधार ऑथेंटिकेशन लागू करने की घोषणा की. जीएसटी काउंसिल की 53वीं बैठक की अध्यक्षता करते हुए वित्त मंत्री ने कहा, 'पूरे देश में बायोमेट्रिक आधारित आधार ऑथेंटिकेशन लागू किया जाएगा. इससे हमें मामलों में फर्जी चालान के माध्यम से किए गए फर्जी इनपुट टैक्स क्रेडिट दावों से निपटने में मदद मिलेगी.'

इसके अलावा वित्त मंत्री ने व्यापार को आसान बनाने और करदाताओं को राहत देने के लिए कई बड़े फैसले लिए. आइए जानें जीएसटी काउंसिल की बैठक में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के 7 बड़े ऐलान...

रेलवे प्लेटफॉर्म टिकट GST के दायरे से बाहर
भारतीय रेलवे की ओर से आम आदमी को दी जाने वाली सेवाओं को GST के दायरे से बाहर रखने की सिफारिश की है. इसमें प्लेटफॉर्म टिकट की बिक्री,  रिटायरिंग रूम और वेटिंग रूम की सुविधा, बैटरी चालित कार जैसी सेवाएं शामिल हैं. इसके अलावा इंट्रा-रेलवे सप्लाई को भी जीएसटी से बाहर रखने की सिफारिश की गई है.

सेक्शन 73 के तहत भेजे गए नोटिस पर ब्याज और जुर्माना होगा माफ
वित्तर मंत्री ने कहा कि काउंसिल ने जीएसटी एक्ट के सेक्शन 73 के तहत जारी किए गए डिमांड नोटिसों पर ब्याज और जुर्माना माफ करने की सिफारिश की है, जिसमें धोखाधड़ी, दमन या गलत बयानी से जुड़े मामले शामिल नहीं हैं. 

सोलर कुकर, दूध कैन, कार्टन बॉक्स पर लगेगा 12% टैक्स
 जीएसटी काउंसिल ने दूध की कैन पर 12 फीसदी टैक्स लगाने की सिफारिश की है. साथ ही काउंसिल ने सभी कार्टन बॉक्स पर 12 फीसदी की दर निर्धारितकी है. सोलर कुकर पर 12 फीसदी टैक्स लगाने की सिफारिश की गई है. इसके अलावा फायर स्प्रिंकलर सहित सभी प्रकार के स्प्रिंकलरों
पर 12 फीसदी टैक्स देना होगा.

जीएसटी के दायरे में आएंगे पेट्रोल-डीजल
वित्त मंत्री ने साफ किया किया कि सरकार का इरादा पेट्रोल-डीजल को जीएसटी के दायरे में लाने का है. उन्होंने कहा कि इसके लिए संशोधन की जरूरत नहीं है. राज्यों को इसमें शामिल होकर ईंधन पर जीएसटी दर तय करने की जरूरत है. उन्होंने कहा कि जीएसटी की दरों को तर्कसंगत बनाने के लिए एक मंत्रियों के समूह का गठन हुआ है जो अगस्त में जीएसटी काउंसिल को अपनी रिपोर्ट देगा.

रिटर्न जमा करने की समय सीमा बढ़ाने की सिफारिश

जीएसटी काउंसिल ने छोटे करदाताओं के लिए रिटर्न जमा करने की समय सीमा 30 अप्रैल से बढ़ाकर 30 जून करने की सिफारिश की है. यह वित्त वर्ष 2024-25 के बाद के रिटर्न पर लागू होगा.

जीएसटी काउंसिल ने कर अधिकारियों द्वारा अपीलीय न्यायाधिकरण के समक्ष अपील दायर करने के लिए  20 लाख रुपए, हाई कोर्ट के लिए 1 करोड़, सुप्रीम कोर्ट के लिए 2 करोड़ की सीमा की सिफारिश की है. 

इसके अलावा जीएसटी काउंसिल ने शिक्षण संस्थानों के बाहर हॉस्टल में रहने वाले लोगों के लिए प्रति व्यक्ति प्रति माह 20000 रुपए तक की सुविधाओं को जीएसटी से बाहर रखने की सिफारिश की है. हालांकि इसके लिए शर्त ये हैं कि सुविधाओं को कम से कम 90 दिन के लिए देना होगा. वहीं शिक्षण संस्थानों के अंदर आने वाले हॉस्टल पहले से ही जीएसटी के दायरे से बाहर हैं.