Cyber Fraud: मुंबई में एक और फ्रॉड का मामला सामने आया है जिसमें माहिम की 61 वर्षीय रिटायर्ड स्कूल टीचर से 1.72 करोड़ रुपये से ज्यादा का नुकसान हुआ है. इनका लाम शोभा धूमप्पा शेट्टी है ये पेंशन पर ही जीवनयापन करती हैं. एफआईआर के अनुसार, यह स्कैम 22 जनवरी, 2025 को शुरू हुआ था जब शेट्टी को एक अज्ञात नंबर (9814513890) से व्हाट्सएप कॉल आया. कॉल कर रहे व्यक्ति ने डीएचएल कस्टमर सर्विस से होने का दावा किया और आरोप लगाया कि उनके नाम पर एक संदिग्ध पार्सल को मिला है जिसमें पासपोर्ट, क्रेडिट कार्ड, कपड़ा और एमडीएमए ड्रग्स थे.
यह सुनकर शेट्टी ने कहा कि उसे इसके बारे में कोई जानकारी नहीं है तो स्कैमर ने कहा कि उनके नाम और मोबाइल नंबर का अवैध रूप से इस्तेमाल किया जा रहा है. साथ ही पुलिस शिकायत दर्ज करने की सलाह दी गई.
फिर कुछ समय के बाद उन्हें एक व्यक्ति ने कॉल किया जिसमें उसने अपना नाम निखिल राज बताया. फिर उसने शेट्टी को विजय संतोष नाम के एक व्यक्ति से बता कराई जिसने खुद को क्राइम ब्रांच का वरिष्ठ जांच अधिकारी बताया. उन्होंने झूठा दावा किया कि शेट्टी का नाम बिजनेसमैन नरेश गोयल से जुड़े एक मामले में सामने आया है और उन्हें जल्द ही गिरफ्तार किया जा सकता है.
गिरफ्तारी से बचने के लिए, उन्हें एक एप्लीकेशन जमा करने का आदेश दिया गया जिसमें लिखना था कि उनके पास कोई काला धन नहीं है और वे जांच के लिए तैयार हैं. फिर अगले कुछ दिनों में उन्हें व्हाट्सएप कॉल, ऑडियो मैसेज और वीडियो के जरिए कॉन्टैक्ट किया गया है जिसमें स्कैमर्स ने खुद को ईडी अधिकारी बताया. फिर इस कॉल में एक व्यक्ति जुड़ा जिसने अपना नाम जॉर्ज मैथ्यू बताया.
फिर स्कैमर्स ने कसीक्रेट नेशनल इन्वेस्टिगेशन से उनका नाम साफ करने के लिए कुछ डॉक्यूमेंट्स इक्ट्ठा किए. फिर शेट्टी को यह विश्वास दिलाने के लिए हेरफेर किया गया कि उन्हें अपनी बेगुनाही साबित करने के लिए पैसे देने होंगे. 30 जनवरी से 27 फरवरी, 2025 के बीच, उसने RTGS के जरिए कई अकाउंट्स में करीब 1.72 करोड़ रुपये ट्रांसफर किए. जांच सही है, इस बात पर विश्वास दिलाने के लिए नीरज कुमार, सहायक निदेशक, ईडी मुंबई के नाम वाले एक नकली दस्तावेज भी शेट्टी को व्हाट्सएप के जरिए भेजा गया.
इसके बाद स्कैमर्स ने सिक्योरिटी मनी के नाम पर 70 लाख रुपये और मांगे तो शेट्टी ने उन्हें बताया कि उनके पास अब पैसा नहीं बचा है. फिर 6 मार्च को उन्हें ऑनलाइन सर्च किया तो उन्हें एक यूट्यूब वीडियो के जरिए इस तरह के स्कैम के बारे में पता चला. फिर महिला ने यह वीडियो आरोपी के साथ शेयर किया तो स्कैमर ने नंबर तुरंत काट दिया.
इसके तुरंत बाद शेट्टी ने साइबर क्राइम हेल्पलाइन (1930) पर शिकायत दर्ज कराई और बाद में व्हाट्सएप चैट, नकली दस्तावेज और बैंक लेनदेन डिटेल्स पुलिस को दिए. साथ ही 9814513890 और 9573385296 नंबर भी पुलिस को दिए. फिलहाल मामले की जांच चल रही है.