Mahakumbh 2025: जाम से परेशान होकर 4 दोस्तों ने बांधा सामान और फिर किया ये काम, वीडियो में देखें कैसे महाकुंभ में किया स्नान

महाकुंभ मेले में स्नान करने की आस्था और उत्साह के चलते देशभर से श्रद्धालु प्रयागराज पहुंच रहे हैं. इसी बीच, कुछ युवाओं ने भीड़ और जाम से बचने के लिए एक अनोखा रास्ता अपनाया और नाव से 248 किलोमीटर की दूरी तय कर प्रयागराज पहुंचे.

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Mahakumbh 2025: महाकुंभ मेले में स्नान करने की आस्था और उत्साह के चलते देशभर से श्रद्धालु प्रयागराज पहुंच रहे हैं, जिससे सभी मार्गों पर भारी भीड़ और लंबा जाम लगा हुआ है. सड़कें सैकड़ों किलोमीटर तक जाम से जूझ रही हैं, और पुलिस लोगों को वापस लौटने की सलाह दे रही है. इसके बावजूद, भक्तों की आस्था इतनी गहरी है कि वे किसी भी हालत में प्रयागराज पहुंचने के लिए प्रतिबद्ध हैं.

ट्रेन, सड़क और हवाई मार्ग से प्रयागराज पहुंचना लगभग असंभव हो गया है, लेकिन श्रद्धालुओं का उत्साह कम नहीं हो रहा. हजारों लोग कई किलोमीटर तक पैदल चलने के लिए भी तैयार हैं. इसी बीच, कुछ युवाओं ने भीड़ और जाम से बचने के लिए एक अनोखा रास्ता अपनाया और नाव से 248 किलोमीटर की दूरी तय कर प्रयागराज पहुंचे.

नाव से 248 किलोमीटर का सफर 

सोशल मीडिया पर वायरल हुए एक वीडियो में चार युवकों को गंगा नदी में मोटर बोट से यात्रा करते हुए दिखाया गया है. वीडियो के कैप्शन में लिखा है, “जाम से परेशान होकर चार दोस्तों ने नाव से तय किया 248 किलोमीटर का सफर, महाकुंभ पहुंचकर किया स्नान.” इस वीडियो ने लोगों का ध्यान आकर्षित किया है और यह वायरल हो रहा है.

भारी जाम और ट्रेनों में भीड़ से लोगों को हो रही है परेशानी

महाकुंभ में स्नान के लिए उमड़ी भीड़ के कारण ट्रेनों में भी अभूतपूर्व भीड़ देखी जा रही है, जिससे यात्रा करना मुश्किल हो गया है. वहीं, सड़कों पर भीषण जाम ने लोगों को घंटों तक फंसे रहने पर मजबूर कर दिया है. इसके बावजूद, लोग अपने वाहनों से यात्रा करने का विकल्प छोड़ने को तैयार नहीं हैं.

कहां से आए युवक

वायरल वीडियो में दिख रहे चार युवकों की पहचान और उनके यात्रा मार्ग के बारे में कोई स्पष्ट जानकारी नहीं मिली है. वीडियो में यह भी नहीं बताया गया है कि वे किस दिशा से आए थे और उनकी यात्रा कितने दिनों में पूरी हुई. हालांकि, उनकी यात्रा का तरीका लोगों को हैरान और प्रभावित कर रहा है.

आस्था और साहस का अनोखा संगम

महाकुंभ में शामिल होने की आस्था और साहस का यह अनोखा संगम दिखाता है कि श्रद्धालु किसी भी कठिनाई को पार करने के लिए तैयार हैं. इन युवाओं ने नाव से यात्रा कर एक नया उदाहरण पेश किया है, जो अन्य श्रद्धालुओं के लिए प्रेरणा बन रहा है.