menu-icon
India Daily

UP में गोहत्या का मामला, व्यक्ति को फंसाने के लिए गोरक्षक को दिए 50000 रुपये

UP News: उत्तर प्रदेश के सहारनपुर जिले में एक दिलचस्प मामला सामने आया है, जहां एक गोरक्षक ने एक मांस व्यापारी को गोहत्या के झूठे आरोप में फंसाने की कोशिश की. पुलिस ने मंगलवार को 36 वर्षीय आरोपी विशाल सिंह कंबोज को गिरफ्तार किया, जो कि एक गोरक्षक और हिंदूवादी संगठन 'विश्व हिंदू परिषद' का सदस्य है.

Cow
Courtesy: Social Media

UP News: उत्तर प्रदेश के सहारनपुर जिले में एक दिलचस्प मामला सामने आया है, जहां एक गोरक्षक ने एक मांस व्यापारी को गोहत्या के झूठे आरोप में फंसाने की कोशिश की. पुलिस ने मंगलवार को 36 वर्षीय आरोपी विशाल सिंह कंबोज को गिरफ्तार किया, जो कि एक गोरक्षक और हिंदूवादी संगठन 'विश्व हिंदू परिषद' का सदस्य है. कंबोज पर आरोप है कि उसने एक मांस व्यापारी, टीपू कुरेशी, से 50,000 रुपये लिए थे, ताकि वह अपने बिछड़े हुए व्यापारिक साथी, जो मुस्लिम था, को गोहत्या के मामले में फंसा सके.

पुलिस के अनुसार, विशाल सिंह कंबोज और उसके साथियों ने सड़क पर गाय के अवशेष रखकर पुलिस से गोहत्या करने वालों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की. लेकिन पुलिस को इस स्थिति पर संदेह हुआ क्योंकि गाय का शव काफी पुराना दिखाई दे रहा था. इसके बाद पुलिस ने कंबोज को हिरासत में लिया, और उसकी बयानों में विरोधाभास पाया. कंबोज ने अंततः स्वीकार किया कि उसने टीपू कुरेशी के कहने पर यह प्रदर्शन किया था, ताकि उसके व्यापारिक साथी को फंसाया जा सके.

व्यापारिक प्रतिस्पर्धा के कारण साजिश

पुलिस ने बताया कि टीपू कुरेशी और उसका निशाना बनाया गया साथी दोनों ही मांस व्यापार से जुड़े थे, लेकिन कंबोज का व्यापार ज्यादा सफल था. यह असंतोष कुरेशी को इस साजिश की ओर ले गया. कंबोज और उसके साथी इस साजिश के माध्यम से अपने व्यापारिक प्रतिस्पर्धी को फंसाकर उसकी प्रतिष्ठा को नुकसान पहुंचाना चाहते थे. पुलिस का कहना है कि गोहत्या के मामले की संवेदनशीलता के कारण कोर्ट भी ऐसे मामलों में जमानत देने में हिचकिचाते हैं, और कुरेशी ने इस मौके का फायदा उठाने की योजना बनाई थी.

आरोपी कंबोज का आपराधिक इतिहास

पुलिस के अनुसार, विशाल सिंह कंबोज का आपराधिक इतिहास रहा है और उसके खिलाफ पहले भी कई मामले दर्ज हो चुके हैं. कंबोज को गिरफ्तार कर लिया गया है, जबकि कुरेशी फरार है. पुलिस ने अभी तक कुरेशी के बिछड़े हुए व्यापारिक साथी का नाम उजागर नहीं किया है और कहा है कि गिरफ्तारी के बाद ही इस मामले की और जानकारी दी जाएगी.