Ghazipur News: उत्तर प्रदेश के गाजीपुर जिले में नाबालिग से दुष्कर्म के एक मामले में अदालत ने दोषी को 20 साल के कठोर कारावास और 30 हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई है. यह फैसला यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण (पॉक्सो) अधिनियम की विशेष अदालत के न्यायाधीश (प्रथम) राकेश कुमार सप्तम ने सुनाया.
अदालत ने अपने आदेश में यह भी कहा कि जुर्माने की 75 प्रतिशत धनराशि पीड़िता को दी जाएगी, ताकि वह मानसिक और शारीरिक रूप से पुनर्वास पा सके.
क्या है मामला?
अभियोजन पक्ष के अनुसार, थाना कोतवाली निवासी एक व्यक्ति ने शिकायत दर्ज कराई थी कि 18 अक्टूबर 2023 को सुबह चार बजे उनकी नाबालिग बहन घर के पास टहलने के लिए गई थी. इसी दौरान, पड़ोस में रहने वाला शिवकुमार उर्फ राहुल उसे बहला-फुसलाकर अपने साथ ले गया और उसके साथ दुष्कर्म किया.
पुलिस ने की त्वरित कार्रवाई, आरोपी गिरफ्तार
शिकायत दर्ज होने के बाद पुलिस ने मुकदमा दर्ज किया और पीड़िता को बरामद करने के साथ ही आरोपी शिवकुमार को गिरफ्तार कर लिया. घटना की जांच पूरी करने के बाद, पुलिस ने नौ नवंबर 2022 को आरोपपत्र दाखिल किया.
कोर्ट में पेश हुए 6 गवाह, दोषी को मिली सजा
विशेष लोक अभियोजन की तरफ से कुल छह गवाह अदालत में पेश किए गए. शुक्रवार को जिरह पूरी होने के बाद, विशेष न्यायाधीश राकेश कुमार सप्तम ने शिवकुमार उर्फ राहुल को दोषी ठहराते हुए उसे 20 साल कारावास और 30 हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई.
अदालत का सख्त रुख, बच्चों की सुरक्षा पर जोर
अदालत ने फैसला सुनाते हुए कहा कि बच्चों के खिलाफ अपराध को बिल्कुल बर्दाश्त नहीं किया जाएगा और ऐसे मामलों में कठोर सजा देकर न्याय सुनिश्चित किया जाएगा.
महिलाओं और बच्चों की सुरक्षा सर्वोपरि
इस सख्त फैसले ने समाज को यह संदेश दिया है कि महिलाओं और बच्चों की सुरक्षा सर्वोपरि है और अपराधियों को सख्त सजा देकर ही ऐसे अपराधों पर लगाम लगाई जा सकती है.