केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल खट्टर ने रविवार (9 फरवरी) को कहा कि सरकार ने हाल ही में अमेरिका द्वारा अवैध भारतीय प्रवासियों को सैन्य विमान में हथकड़ी लगाकर भेजने के तरीके पर सभी आपत्तियों का संज्ञान लिया है. दरअसल, अमेरिका द्वारा अवैध भारतीय प्रवासियों को सैन्य विमान में 40 घंटे की उड़ान के दौरान हथकड़ी लगाकर वापस भेजे जाने को लेकर विरोध जताया गया है. 104 अवैध भारतीय प्रवासियों को लेकर अमेरिकी सैन्य विमान 5 फरवरी को अमृतसर में उतरा था.
अमेरिका द्वारा अवैध प्रवासियों का निर्वासन
5 फरवरी को, अमेरिका ने 104 अवैध भारतीय प्रवासियों को लेकर एक सैन्य विमान को अमृतसर में उतारा. इस दौरान इन प्रवासियों को 40 घंटे की उड़ान के दौरान हथकड़ी लगाकर भेजा गया, जिसे लेकर व्यापक विरोध हुआ. इस कार्रवाई पर भारत ने शुक्रवार को अमेरिका से अपनी चिंता व्यक्त की थी और कहा था कि इस तरह के व्यवहार से बचा जा सकता था.
जानिए मनोहर लाल खट्टर ने क्या प्रतिक्रिया दी?
मनोहर लाल खट्टर ने इस मुद्दे पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा, "अमेरिका ने पहले भी लोगों को भारत में निर्वासित किया है, लेकिन इस बार इसके तरीके पर आपत्तियां उठाई गई हैं. इन आपत्तियों का संज्ञान लिया गया है और यह मुद्दा बातचीत से सुलझाया जाएगा. यह किसी भी देश के लिए अच्छा नहीं है, और हम इस पर उचित विचार करने के बाद आगे चर्चा करेंगे.
अवैध प्रवासियों के निर्वासन पर सरकार का रुख
मंत्री ने यह भी कहा कि लगातार यह मांग उठ रही है कि देश में रह रहे अवैध प्रवासियों को निर्वासित किया जाए. खट्टर ने बताया कि निर्वासन के लिए एक औपचारिक प्रक्रिया होती है और इस प्रक्रिया की अपनी संवेदनशीलताएं हैं, जैसे कि इसे कब, कैसे और किस तरीके से किया जाए.
बांग्लादेशी प्रवासियों पर सवाल
मंत्री से एक सवाल पूछा गया था कि अगर अमेरिका अवैध प्रवासियों को निर्वासित कर सकता है, तो भारत में बांग्लादेशी अवैध प्रवासियों को क्यों नहीं भेजा जा रहा है. इस पर खट्टर ने कहा, "यह एक गंभीर समस्या है. किसी भी देश में अवैध रूप से रहना गलत है. जब ऐसी घटनाएं होती हैं, तो सभी देशों को निर्वासन करना पड़ता है. हमने असम से भी कई लोगों को निर्वासित किया है."
2025-26 के आम बजट पर चर्चा
खट्टर ने संवाददाता सम्मेलन के दौरान केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा पेश किए गए 2025-26 के आम बजट के मुख्य बिंदुओं पर भी जानकारी दी.