CBI की गिरफ्त में NIA के घूसखोर अधिकारी, DSP ने मांगी 2.5 करोड़ रिश्वत  

बिहार में नेशनल इन्वेस्टिगेटिंग एजेंसी (NIA) के डीएसपी सहित 2 एजेंट को CBI ने रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया है. CBI ने अधिकारियों को 20 लाख की घूस लेते हुए अधिकारियों को पकड़ा है. CBI ने यह कार्रवाई जदयू की पूर्व एमएलसी की शिकायत के बाद की. फिलहाल मामले में जांच शुरु कर दी गई है.

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Madhvi Tanwar

बिहार में नेशनल इन्वेस्टिगेटिंग एजेंसी (NIA) के डीएसपी सहित 2 एजेंट को CBI ने रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया है. CBI ने अधिकारियों को 20 लाख की घूस लेते हुए अधिकारियों को पकड़ा है. CBI ने यह कार्रवाई जदयू की पूर्व एमएलसी की शिकायत के बाद की. फिलहाल मामले में जांच शुरु कर दी गई है. CBI के अधिकारियों की एक टीम NIA के गिरफ्तार अधिकारियों से पूछताछ करने में लगी है. 

हथियार भी हुए थे बरामद

दरअसल बिहार के एपी कॉलोनी में रहने वाले जदयू के पूर्व एमएलसी मनोरमा देवी के घर 19 सितंबर को एनआई की टीम ने दबिश दी थी. एनआईए पटना शाखा के डीएसपी अजय प्रताप सिंह के नेतृत्व में यह दबिश दी गई. एनआई ने एमएलसी के घर से छापेमारी के दौरान 4.3 करोड़ की नकदी के साथ कई हथियार भी बरामद किए थे. डीएसपी अजय प्रताप ने सिंह ने मामले को रफा सफा करने के लिए पूर्व एमएलसी मनोरमा देवी के बेटे से 2.5 करोड़ रुपये की रिश्वत मांगी की. इतना ही नहीं रिश्वत की रकम न मिलने पर डीएससपी ने मामले बेटे को नक्सली मामले में फंसाने की धमकी देकर पैसे की मांग की. 

कैसे खुली अधिकारियों की पोल

मामले का खुलासा उस समय हुआ जब रमैया कंस्ट्रक्शन के मालिक रॉकी यादव ने NIA के DSP अजय प्रताप सिंह पर रिश्वतखोरी का आरोप लगाया था. मामला सीबीआई के पास जा पहुंचा. सीबीआई ने मामले में प्रारंभिक जांच की. इसमें लगाए गए आरोपों की अधिकारियों ने पुष्टि की. पुष्टी कर सीबीआई ने गया से NIA के DSP के 2 एजेंट को 20 लाख की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया. पटना से NIA के DSP अजय प्रताप सिंह की भी धर दबोचा. सीबीआई मे डीएसपी के घर पर तो छापेमारी की ही, साथ ही साथ यूपी में रहने वाले उनके रिश्तेदारों के घरों पर भी दबिश की. 

धमकी से रॉकी यादव को डराया

दरअसल जदयू पार्टी से पूर्व एमएलसी मनोरमा देवी के पीए रविंद्र यादव इस छापेमारी के पीछे राजद के किसी कद्दावर नेता का हाथ मान रहे है. नक्सलवादी गतिविधि में फंसाने व रॉकी यादव को इस मामले से बचाने के लिए अधिकारी द्वारा 2.5 करोड़ रुपये की रिश्वत की जो मांग की गई थी. उसी की पहली किस्त 20 लाख रुपये लेते समय डीएसपी के 2 एजेंट पकड़े गए. सीबीआई ने तुरंत ही दोनों को रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया. सीबीआई की टीम में छापेमारी के समय 6 एसपी व 4 डीएसपी शामिल थे.