Asia Cup 2023: विश्वकप 2023 के महामुकाबले से पहले पाकिस्तान और श्रीलंका की मेजबानी में खेला जाने वाला एशिया कप भारतीय टीम के लिए तैयारियां पुख्ता करने का सबसे बड़ा मंच है. इसी को देखते हुए भारतीय टीम श्रीलंका के लिए उड़ान भरने से पहले बेंगलुरु के पास स्थित अलूर में 6 दिन का कैंप शुरू करने जा रही है जिसमें विराट कोहली, रोहित शर्मा, रवींद्र जडेजा और मोहम्मद सिराज जैसे स्टार खिलाड़ियों की मौजूदगी जरूरी है.
एशिया कप से पहले एनसीए ने तैयार किया खास ट्रेनिंग प्रोग्राम
इन खिलाड़ियों के लिए न सिर्फ इस कैंप का हिस्सा बनना जरूरी है बल्कि यहां पर होने वाले एक फिटनेस टेस्ट को पास करना भी जरूरी होगा. इस कैम्प में जो खिलाड़ी आयरलैंड दौरे का हिस्सा नहीं थे और सीधे वेस्टइंडीज से भारत पहुंचे हैं उन्हें 13 दिन का रूटीन पकड़ाया गया है और जो आयरलैंड दौरे से वापस आये हैं उन्हें 6 दिन का रूटीन सौंपा गया है.
एशिया कप के लिए 17 सदस्यीय टीम का चयन किया गया है और यह कहना गलत नहीं होगा कि आगामी विश्वकप में भी इस टीम से आपको ज्यादा से ज्यादा 1-2 बदलाव ही देखने को मिलेंगे. बीसीसीआई सूत्रों के हवाले से छपी एक रिपोर्ट के अनुसार इस फिटनेस कैंप के दौरान सभी खिलाड़ियों को फुल बॉडी चेकअप से गुजरना होगा जिसमें एनसीए के फिजियो सभी प्लेयर्स का फिटनेस टेस्ट लेंगे और जो इसे पास करने में नाकाम रहा उसे बाहर भी किया जा सकता है.
फिटनेस के इस खास प्रोग्राम में जानें क्या-क्या शामिल
एशिया कप के लिए बनाए गये इस प्रोग्राम के तहत यह फिटनेस रूटीन खिलाड़ियों को फिट रखने, कंधे की देखभाल करने और ग्लूट मांसपेशियों का ध्यान रखने के लिए तैयार किया गया है. इसके साथ ही खिलाड़ी अपने ताकत पर भी ध्यान देंगे. इस प्लान में हर खिलाड़ी के लिए अलग प्लान तैयार किया गया है जिसमें प्रोटीन की मात्रा लेना, जिम सेशन पूरा करना, चलना, दौड़ना और फिर स्विमिंग करना शामिल है. कोहली और रोहित जैसे सीनियर खिलाड़ियों के लिए 9 घंटे की नींद के साथ ही योग करना अनिवार्य है. एनसीए ने हर प्लेयर के लिए एक खास ड्रिल भी तैयार किया है.
अगर प्लेयर नहीं किया फॉलो रूटीन तो..
रिपोर्ट में बीसीसीआई अधिकारी के हवाले से कहा गया है कि यह प्लेयर्स के लिए बनाया गया एक खास प्रोग्राम है ताकि सभी खिलाड़ी अगले दो महीने तक किसी भी तरह की चोट का शिकार न हों. फिजियो की ओर से दिया गया रूटीन अगर कोई प्लेयर फॉलो नहीं करता है तो ट्रेनर को पता चल जाएगा कि किसने किया और किसने नहीं. जब टीम मैनेजमेंट को यहा पता चलेगा कि किसने रूटीन फॉलो नहीं किया है तो मैनेजमेंट तय करेगा कि उस प्लेयर के साथ क्या किया जाना चाहिए.
इसे भी पढ़ें- 'मीडिया केवल धोनी के एक छक्के को ही दिखाता है, युवराज को कोई क्रेडिट नहीं...', वर्ल्ड कप 2011 को याद करते हुए बोले गंभीर