Vaniya Agrawal: वानिया अग्रवाल, जो एक भारतीय-अमेरिकी सॉफ़्टवेयर इंजीनियर हैं, ने माइक्रोसॉफ्ट के 50वीं वर्षगांठ समारोह में सार्वजनिक रूप से विरोध किया. यह घटना उस समय हुई जब माइक्रोसॉफ्ट के वर्तमान CEO सत्य नडेला और पूर्व CEOs बिल गेट्स और स्टीव बाल्मर मंच पर कंपनी के बारे में चर्चा कर रहे थे. वानिया ने इन नेताओं का सामना करते हुए आरोप लगाया कि माइक्रोसॉफ्ट की तकनीकें गाजा में हिंसा को बढ़ावा दे रही हैं.
वानिया ने क्या कहा?
विरोध के दौरान वानिया ने मंच से खड़े होकर माइक्रोसॉफ्ट के नेताओं को आड़े हाथों लिया. उन्होंने कहा, “आप सभी पर शर्म आनी चाहिए. आप सभी झूठे हैं.” इसके बाद उन्होंने और भी तीखा आरोप लगाया, “गाज़ा में 50,000 फिलिस्तीनी मारे गए हैं और माइक्रोसॉफ्ट की तकनीकों से उनकी हत्या हुई है. आप लोगों को कैसे इतनी निष्ठुरता से खुशियां मनाते हुए देख सकते हैं? शर्म आनी चाहिए.”
नो अज्योर फॉर अपार्थेड समूह का जिक्र
वानिया अग्रवाल ने अपने विरोध में 'No Azure for Apartheid' नामक समूह का भी जिक्र किया. यह समूह माइक्रोसॉफ्ट की इजरायली सेना के साथ कथित साझेदारी और उसके क्लाउड सर्विसेज की आलोचना करता आया है. वानिया ने दावा किया कि यह समूह माइक्रोसॉफ्ट के कार्यक्रमों में भी विरोध प्रदर्शनों का आयोजन कर रहा था.
Indian-origin Hindu Vaniya Agrawal, a Microsoft employee, disrupts Microsoft's 50th anniversary celebration, with protest over Palestine in front of Bill Gates. https://t.co/wCZPt47E85
— Naomi Canton (@naomi2009) April 6, 2025
वानिया अग्रवाल कौन हैं?
वानिया अग्रवाल माइक्रोसॉफ्ट की आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस डिवीजन की सॉफ़्टवेयर इंजीनियर हैं. उनके लिंक्डइन प्रोफाइल के अनुसार, वानिया ने सितंबर 2023 में माइक्रोसॉफ्ट जॉइन किया था. इससे पहले, वह तीन वर्षों तक अमेज़न में सॉफ़्टवेयर इंजीनियर के रूप में काम कर चुकी थीं.
माइक्रोसॉफ्ट से इस्तीफा
इस विरोध के बाद वानिया ने माइक्रोसॉफ्ट से इस्तीफा देने का निर्णय लिया. उन्होंने एक ईमेल के माध्यम से अपने इस्तीफे की घोषणा करते हुए कहा, "हैलो सभी को, मेरा नाम वानिया है, और 1.5 वर्षों तक इस कंपनी में सॉफ़्टवेयर इंजीनियर के रूप में काम करने के बाद, मैंने माइक्रोसॉफ्ट छोड़ने का निर्णय लिया है. मेरा आखिरी दिन 11 अप्रैल को है. आपको शायद वह घटना याद होगी, जब मैंने माइक्रोसॉफ्ट की 50वीं वर्षगांठ के कार्यक्रम में सत्य नडेला के भाषण के दौरान खड़े होकर विरोध किया था. यही कारण है कि मैंने आज बोलने का निर्णय लिया और कंपनी छोड़ने का भी."