अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने सोमवार (3 फरवरी0 को एक बयान जारी किया, जिसमें उन्होंने कहा कि हमें रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के बारे में चिंता करने के बजाय घरेलू समस्याओं पर अधिक ध्यान केंद्रित करना चाहिए, खासकर उन आपराधिक गतिविधियों से संबंधित मुद्दों पर जो प्रवासियों द्वारा की जा रही हैं. ट्रंप का यह बयान एक बार फिर से वैश्विक राजनीति के संदर्भ में उनका कड़ा रुख दर्शाता है.
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने अपने ट्रुथ सोशल प्लेटफ़ॉर्म पर लिखा, "हमें पुतिन के बारे में चिंता करने के बजाय, प्रवासी बलात्कार गिरोहों, ड्रग माफियाओं, हत्यारों और मानसिक संस्थानों से आए लोगों के बारे में अधिक चिंता करनी चाहिए, ताकि हम यूरोप जैसे हालात में न फंस जाएं. उनका यह बयान अमेरिका की आंतरिक सुरक्षा और सीमाओं से संबंधित गंभीर समस्याओं को उजागर करता है, जिसमें उन्होंने प्रवासियों से जुड़े अपराधों पर अधिक ध्यान देने की आवश्यकता जताई.
ज़ेलेस्की से तीखी बहस और उसके बाद की घटनाएं
राष्ट्रपति ट्रंप का यह बयान उनके और यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर ज़ेलेस्की के बीच व्हाइट हाउस में हुई एक तीखी बहस के बाद आया. ट्रंप ने ज़ेलेस्की को "आदरहीन" बताया और कहा कि वह उस समय बातचीत को समाप्त करने के बाद बिना कोई समझौता किए व्हाइट हाउस से रवाना हो गए, जो कि खनिज अधिकारों के साझाकरण पर एक महत्वपूर्ण समझौता था.
UK पीएम स्टारमर की पहल और यूरोपियन नेताओं का समर्थन
इससे पहले, यूके के प्रधानमंत्री कीर्स स्टारमर ने यूक्रेन के राष्ट्रपति ज़ेलेस्की से मुलाकात की और कहा कि उन्होंने फ्रांस और यूक्रेन के साथ मिलकर युद्ध समाप्त करने का एक योजना बनाई है. स्टारमर के नेतृत्व में आयोजित बैठक में यूरोप के कई देशों के नेताओं ने भाग लिया, जिनमें जर्मनी, डेनमार्क, इटली, नीदरलैंड, नॉर्वे, पोलैंड, स्पेन, कनाडा, फिनलैंड, स्वीडन, चेक गणराज्य और रोमानिया शामिल थे.
समिट में भाग लेने वाले अन्य प्रमुख प्रतिनिधि
यह बैठक लंकास्टर हाउस, बकिंघम पैलेस के पास एक ऐतिहासिक इमारत में आयोजित की गई थी, जिसमें तुर्की के विदेश मंत्री, नाटो के महासचिव, और यूरोपीय आयोग और यूरोपीय परिषद के अध्यक्ष भी शामिल थे. इस बैठक का उद्देश्य ट्रंप को यूक्रेन को वार्ता में प्राथमिकता देने के लिए राजी करना और यूरोपीय सहयोग को मजबूत करना था.