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'मानवता की सफलता सामूहिक शक्ति में है', UN के फ्यूचर समिट में बोले PM मोदी

PM Modi News: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को संयुक्त राष्ट्र महासभा को संबोधित करते हुए वैश्विक शांति और विकास के लिए सुधार की आवश्यकता पर जोर दिया. उन्होंने कहा कि मानवता की सफलता सामूहिक शक्ति में है न कि युद्ध में. पीएम मोदी ने यूक्रेन की अपनी हालिया यात्रा का जिक्र करते हुए अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन की सराहना भी प्राप्त की.

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Edited By: India Daily Live
PM Modi
Courtesy: Social Media

PM Modi News: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को संयुक्त राष्ट्र महासभा को संबोधित किया. पीएम मोदी ने इस मौके पर वैश्विक शांति की वकालत करते हुए कहा कि मानवता की सफलता सामूहिक शक्ति में निहित है, युद्ध के मैदान में नहीं. उन्होंने आगे कहा कि  वैश्विक शांति और विकास के लिए वैश्विक संस्थाओं में सुधार महत्वपूर्ण हैं.सुधार प्रासंगिकता की कुंजी है.

तीन दिवसीय यात्रा पर अमेरिका आए पीएम मोदी ने द्विपक्षीय वार्ता के दौरान अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन के साथ यूक्रेन की अपनी हालिया यात्रा के बारे में चर्चा की. बैठक के बाद जारी संयुक्त तथ्य पत्र के अनुसार बाइडन ने पीएम मोदी की यूक्रेन यात्रा और उनके शांति संदेश की सराहना की है.

हमने 250 मिलियन लोगों को गरीबी से बाहर निकाला 

शिखर सम्मेलन में प्रधानमंत्री मोदी ने इस बात पर भी प्रकाश डाला कि किस प्रकार भारत ने सतत विकास के माध्यम से लोगों को गरीबी से बाहर निकाला है. उन्होंने कहा कि आज मैं यहां मानवता के छठे हिस्से की आवाज उठाने आया हूं.  हमने भारत में 250 मिलियन लोगों को गरीबी से बाहर निकाला है और हमने दिखाया है कि सतत विकास सफल हो सकता है. हम सफलता के इस अनुभव को वैश्विक दक्षिण के साथ साझा करने के लिए तैयार हैं.

साइबर खतरे पर भी की बात

प्रधानमंत्री मोदी ने साइबर अपराध के बढ़ते खतरे के बारे में भी बात की. उन्होंने कहा कि जहां एक ओर आतंकवाद वैश्विक शांति और सुरक्षा के लिए गंभीर खतरा बना हुआ है, वहीं दूसरी ओर साइबर, समुद्री और अंतरिक्ष जैसे क्षेत्र संघर्ष के नए क्षेत्र के रूप में उभर रहे हैं.  वैश्विक कार्रवाई को अंतिम महत्वाकांक्षा के अनुरूप होना चाहिए.

तकनीक के विनियमन की जरूरत

पीएम मोदी ने आगे कहा कि तकनीक के सुरक्षित और जिम्मेदार उपयोग के लिए संतुलित विनियमन की आवश्यकता है. उन्होंने कहा कि हम ऐसा वैश्विक डिजिटल शासन चाहते हैं जिसमें संप्रभुता और अखंडता बरकरार रहे.  डिजिटल पब्लिक इंफ्रास्ट्रक्चर (DPI) एक पुल होना चाहिए न कि बाधा.  वैश्विक भलाई के लिए, भारत अपना DPI साझा करने के लिए तैयार है.  भारत के लिए, 'एक पृथ्वी, एक परिवार, एक भविष्य' एक प्रतिबद्धता है.