दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति यून गिरफ्तार, राजद्रोह के मामले में अदालत का आदेश, खड़ा हुआ राजनीतिक संकट
सियोल में चल रहे इस राजनीतिक तूफान में यून सुक येओल के खिलाफ आरोप गंभीर होते जा रहे हैं. अब देखना यह है कि कोर्ट और कानून प्रवर्तन एजेंसियों से आगे की कार्रवाई किस दिशा में जाती है और यह मामला दक्षिण कोरिया की राजनीति को किस ओर मोड़ता है.
South Korean President Yoon Arrested: सियोल, 18 जनवरी: दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति यून सुक येओल को आज तड़के औपचारिक रूप से गिरफ्तार कर लिया गया. यह गिरफ्तारी उस समय हुई है जब यून सुक येओल महाभियोग के मामले का सामना कर रहे हैं. उन्हें कुछ दिन पहले सियोल स्थित राष्ट्रपति निवास से हिरासत में लिया गया था. इस गिरफ्तारी से पहले अदालत ने इस बात पर विचार किया कि कानून प्रवर्तन एजेंसी के अनुरोध पर उनकी औपचारिक गिरफ्तारी स्वीकार की जाए या नहीं.
मार्शल लॉ और विद्रोह के आरोप
यून सुक येओल पर 3 दिसंबर को मार्शल लॉ की घोषणा से जुड़े संभावित विद्रोह के आरोप हैं. बुधवार को कानून प्रवर्तन एजेंसी ने उनके आवास पर छापेमारी कर उन्हें हिरासत में लिया. इस घटनाक्रम ने 1980 के दशक के अंत में दक्षिण कोरिया के लोकतंत्रीकरण के बाद से सबसे गंभीर राजनीतिक संकट को जन्म दिया है.
पांच घंटे चली बंद कमरे में सुनवाई
यून के वकीलों ने बताया कि लगभग पांच घंटे तक बंद कमरे में चली सुनवाई के दौरान राष्ट्रपति ने न्यायाधीश के सामने अपनी दलील पेश की. यून की कानूनी टीम और भ्रष्टाचार रोधी एजेंसियों ने यह दलील दी कि उन्हें हिरासत में रखा जाए या छोड़ दिया जाए. सुनवाई के बाद यून का काफिला शनिवार शाम को हिरासत केंद्र की ओर जाते हुए देखा गया.
मार्शल लॉ की घोषणा पर बवाल
यून सुक येओल की ओर से 3 दिसंबर को मार्शल लॉ की घोषणा ने दक्षिण कोरियाई नागरिकों को हैरान कर दिया था. इस घोषणा के बाद देशभर में विरोध प्रदर्शन और आक्रोश फैल गया. हालांकि, मार्शल लॉ केवल कुछ घंटे तक ही लागू रहा, लेकिन इसने दक्षिण कोरिया की राजनीति, कूटनीति और वित्तीय बाजार में हलचल मचा दी थी. इसके बाद 14 दिसंबर को संसद ने यून के खिलाफ महाभियोग चलाने और उन्हें पद से हटाने के लिए मतदान किया.
यह घटना दक्षिण कोरिया के लोकतांत्रिक ढांचे में एक गंभीर मोड़ ला रही है. महाभियोग के मुद्दे पर बढ़ते दबाव के साथ, यून सुक येओल के राष्ट्रपति पद पर संकट गहरा गया है. इस गिरफ्तारी और महाभियोग के मामले ने दक्षिण कोरिया की राजनीति को एक नई दिशा में मोड़ दिया है.
(इस खबर को इंडिया डेली लाइव की टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की हुई है)