ताउम्र देश सेवा करने वालों को अब नहीं मिलेगी पेंशन! कंगाली से उबरने के लिए पाकिस्तान का बड़ा फैसला
इन बदलावों के साथ, सरकार ने यह भी घोषणा की है कि 1 जुलाई 2024 से नागरिक कर्मचारियों के लिए पारंपरिक पेंशन योजना को समाप्त कर दिया जाएगा. इसके बजाय, नए कर्मचारियों को एक योगदान आधारित पेंशन योजना दी जाएगी, जिसमें कर्मचारियों को अपनी पेंशन में योगदान करने के लिए वेतन से कुछ हिस्सा काटा जाएगा.
पाकिस्तान सरकार ने अपने बढ़ते पेंशन बिल को नियंत्रित करने के लिए एक अहम कदम उठाया है, जिसके तहत सेवानिवृत्त सिविल और सशस्त्र बलों के कर्मचारियों की पेंशन में भारी कटौती की गई है. यह फैसला सरकार की ओर से बढ़ते आर्थिक संकट को देखते हुए लिया गया है, जिसमें पेंशन बिल 1 ट्रिलियन रुपए से अधिक हो चुका है.
पेंशन में कटौती के कारण
पाकिस्तान सरकार के वित्त मंत्रालय ने 3 जनवरी, 2024 को तीन अलग-अलग अधिसूचनाएं जारी कीं, जिनमें पेंशन लाभों को कम करने के उपायों की जानकारी दी गई. इन नियमों के तहत, एक व्यक्ति को एक से अधिक पेंशन मिलने पर अब वह केवल एक पेंशन का चयन कर सकेगा. इसके अलावा, नए पेंशनरों के लिए पेंशन की गणना अब अंतिम वेतन की बजाय पिछले दो वर्षों के औसत वेतन पर आधारित की जाएगी.
वित्त मंत्रालय ने यह भी स्पष्ट किया कि पेंशन में वार्षिक वृद्धि को समाप्त कर दिया गया है और अब पेंशन वृद्धि को मूल पेंशन से अलग किया जाएगा. यह कदम अनुकूली वेतन वृद्धि (ad-hoc salary increase) की तरह है, जिसमें वेतन वृद्धि को मूल वेतन का हिस्सा नहीं बनाया जाता है, ताकि इससे कोई चक्रवृद्धि असर न पड़े.
पेंशन बिल का बोझ
पाकिस्तान का पेंशन बिल अब राष्ट्रीय बजट का चौथा सबसे बड़ा खर्च बन चुका है, जो पहले रक्षा, विकास और कर्ज चुकाने के बाद आता है. वित्त मंत्रालय के अनुसार, 2020 के वेतन और पेंशन आयोग की सिफारिशों के आधार पर यह कदम उठाया गया है. रिपोर्ट्स के अनुसार, वर्तमान वित्तीय वर्ष के बजट में पेंशन के लिए 1.014 ट्रिलियन रुपए आवंटित किए गए हैं, जिनमें से 66 प्रतिशत (लगभग 662 बिलियन रुपए) का हिस्सा सैन्य पेंशन पर खर्च किया जाएगा. यह पेंशन बिल पिछले साल की तुलना में 24 प्रतिशत बढ़ा है, जो पाकिस्तान की आर्थिक स्थिरता के लिए एक बड़ी चुनौती बन चुका है.
पेंशन नियमों में बदलाव की तारीख
नए पेंशन नियमों को 1 जनवरी 2024 से लागू कर दिया गया है, और यह बदलाव सेवानिवृत्त सिविल और सैन्य दोनों कर्मचारियों पर लागू होंगे. इन बदलावों से वे सरकारी कर्मचारी भी प्रभावित होंगे जो वर्तमान में वेतन और पेंशन दोनों प्राप्त कर रहे हैं.
इन बदलावों के साथ, सरकार ने यह भी घोषणा की है कि 1 जुलाई 2024 से नागरिक कर्मचारियों के लिए पारंपरिक पेंशन योजना को समाप्त कर दिया जाएगा. इसके बजाय, नए कर्मचारियों को एक योगदान आधारित पेंशन योजना दी जाएगी, जिसमें कर्मचारियों को अपनी पेंशन में योगदान करने के लिए वेतन से कुछ हिस्सा काटा जाएगा. इसी तरह, 1 जुलाई 2025 से रक्षा बलों के कर्मचारियों के लिए भी यह नई योजना लागू होगी.
भविष्य में पेंशन बिल में कमी की उम्मीद
पाकिस्तान सरकार को उम्मीद है कि इन बदलावों के बाद अगले दशक में पेंशन बिल में काफी कमी आएगी और यह अधिक प्रबंधनीय हो जाएगा. वर्तमान में, पेंशन बिल इतना बड़ा हो चुका है कि सरकार इसे स्थिर और दीर्घकालिक रूप से संभालने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है.
इन सुधारों के बाद, सरकार का उद्देश्य भविष्य में पेंशन बिल को नियंत्रण में रखना और देश की आर्थिक स्थिति को सुधारना है. हालांकि, यह कदम कई सेवानिवृत्त कर्मचारियों के लिए एक झटका हो सकता है, जो वर्षों से अपनी सेवाओं के बदले पेंशन का लाभ प्राप्त कर रहे हैं.
आने वाले बदलावों का प्रभाव
सिर्फ पेंशन के खर्चों को घटाने के उपाय नहीं, बल्कि सरकार द्वारा उठाए गए अन्य कदमों में एक नई पेंशन योजना का संचालन भी शामिल है, जो कर्मचारियों को उनकी सेवा के दौरान योगदान के आधार पर पेंशन प्रदान करेगी. यह नई व्यवस्था पाकिस्तान के सार्वजनिक क्षेत्र के कर्मचारियों के लिए भविष्य में बेहतर वित्तीय सुरक्षा प्रदान करने का लक्ष्य रखती है. हालांकि, यह बदलाव कर्मचारियों और सेवानिवृत्त व्यक्तियों के लिए चुनौतीपूर्ण हो सकते हैं, लेकिन पाकिस्तान सरकार इसे अपनी आर्थिक