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Israel और Iran में ठनी भीषण जंग, जमकर बरस रहे ड्रोन-रॉकेट, भारत ने जारी की एडवाइजरी

ईरान और इजराइल के बीच जंग छिड़ गई है. ईरान ने इजरायल पर ड्रोन अटैक किया है. हमले के बाद इजरायली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने तेल अवील में वॉर कैबिनेट की बैठक बुला ली है. यह युद्ध अब थमता नजर नहीं आ रहा है.

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Edited By: India Daily Live
Israel Iran War
Courtesy: Social Media

Israel Iran War: गाजा से शुरू हुई इजराइल की लड़ाई अब, ईरान तक पहुंच गई है. ईरान ने एक के बाद एक कई ड्रोन इजराइल पर दागे हैं. सीरिया में अपने दूतावास पर 1 अप्रैल को हुए हवाई हमले का ईरान ने बदला ले लिया है. शनिवार रात ईरान ने इजराइल पर ड्रोन की बमबारी शुरू कर दी. इजरायली सेना के प्रवक्ता रियर एडमिरल डेनियल हगारी ने दावा किया है कि ईरान के ड्रोन, इजराइल में घंटों बाद पहुंचेंगे, जिन्हें एयर डिफेंस सिस्टम तबाह कर देगा.

दमिश्क में ईरानी दूतावास पर इजराइल ने हमला बोला था. जवाब में ईरान ने भी कहर बरपा दिया. इजराइल के हमले में ईरान के रिवोल्यूशनरी गार्ड्स के दो बड़े अधिकारी कुद्स फोर्स के कमांडर मोहम्मद-रजा जाहेदी और उनके डिप्टी मोहम्मद सहित कम से कम 13 लोग मारे गए.

इजराइल में रह रहे लोगों के लिए भारत ने जारी की एडवाइजरी
भारतीय दूतावास ने इजराइल में रह रहे लोगों के लिए एडवाइजरी जारी की है. दूतावास ने अपील की है कि लोग शांत रहें और स्थानीय अधिकारियों के सुरक्षा प्रोटोकॉल का पालन करें. ईरान ने इजरायली क्षेत्र पर अपने पहले सीधे हमले में विस्फोटक ड्रोन और मिसाइलें लॉन्च कीं हैं. दूतावास की स्थिति पर नजर रख रहा है. भारत, नागरिकों की सुरक्षा के लिए लगातार इजराइली अधिकारियों के संपर्क में है. भारतीय दूतावास पर 24 घंटे हेल्पलाइन नंबर ऑन है. लोगों से खुद को दूतावास के पोर्टल पर रजिस्टर करने के लिए कहा गया है.

संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद से इजराइल ने लगाई गुहार
इजराइल ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद से तत्काल एक बैठक बुलाने और स्पष्ट रूप से ईरान की निंदा करने की अपील की है. इजराइल ने कहा है कि इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड कॉर्प्स एक आतंकी संगठन है, जिस पर ईरान अंकुश लगाए. संयुक्त राष्ट्र में इजरायल के स्थायी प्रतिनिधि गिलाद एर्दान ने राष्ट्रपति को लिखे एक पत्र में कहा, 'हम इन गंभीर उल्लंघनों के लिए ईरान की निंदा करने और आईआरजीसी को एक आतंकवादी संगठन के रूप में नामित करने के लिए सुरक्षा परिषद की बैठक बुलाना चाहते हैं.'

इस जंग में किसके साथ खड़ा है अमेरिका?
मिडिल ईस्ट में चल रही विध्वंसक जंग में अमेरिका भी कूद गया है. अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने ईरान के खिलाफ इजराइल के एक्शन पर समर्थन जाहिर किया है. उन्होंने कहा है कि ईरान से खतरों के खिलाफ इजराइल की सुरक्षा के लिए हमारी प्रतिबद्धता दृढ़ है.

क्या है ईरान के खिलाफ इजराइल की तैयारी?
इजराइल ने कुछ इलाकों में रहने वाले लोगों को सुरक्षित जगहों पर जाने के निर्देश दिए हैं. इजरायली सेना ने उत्तर में गोलान हाइट्स और दक्षिण में नेवातिम, डिमोना और इलियट के निवासियों को अलर्ट रहने के लिए कहा है. इजराइली सेना ने कहा है कि ऐसे लोग किसी शेल्टर होम, बंकर, या किसी तलहटी में छिपे रहें. जैसे ही सेना हवाई हमलों का अलर्ट बजाए, लोग सुरक्षित जगहों पर भाग जाएं. इजराइली सेना बार-बार कह रही है कि हम जनता से होम फ्रंट कमांड के निर्देशों का पालन करने की अपील करते हैं.

ईराक-सीरिया सीमा पर कई ईरानी ड्रोन तबाह 
इजराइल के टॉप रेटेड चैनल 12 टीवी ने दावा किया है कि रविवार सुबह तक अमेरिका और ब्रिटिश युद्धक विमानों ने इराक-सीरिया सीमा क्षेत्र पर इजराइल जा रहे कुछ ईरानी ड्रोनों को मार गिराया है. 

कैसे भड़की है जंग?
इजराइल ने 1 अप्रैल को सीरिया के दमिश्क में एक ईरानी दूतावास की इमारत पर हमला किया, जिसमें दो ईरानी जनरलों और पांच अधिकारियों सहित कम से कम 13 लोग मारे गए. यह हमला इजरायल ने ईरान के सैन्य अधिकारियों को मार गिराने के मकसद से किया था.  आरोप हैं कि ईरान, गाजा में और लेबनान के साथ इसकी सीमा पर इजरायल से लड़ने वाले आतंकवादी समूहों को समर्थन देता है.

हिज्बुल्लाह के खिलाफ एक्शन से बौखलाया है ईरान
दरअसल इजराइल और हमास के बीच 6 महीनों से जंग छिड़ी है. गाजा पूरी तरह से तबाह हो गया है. इजराइल और लेबनान स्थित ईरान समर्थित हिजबुल्लाह आतंकवादियों के बीच भयानक जंग छिड़ी है. हमास गाजा पर रूल करता है और ईरान हमास के साथ खड़ा है. 7 अक्टूबर से भड़की इस जंग में ईरान, हमास के साथ है. 

शैतानों के खिलाफ अयातुल्ला खुमैनी की जंग!
ईरान, अमेरिका और इजराइल को शैतान मानता है. अयातुल्ला खुमैनी ने अमेरिका और इजरायल को छोटा और बड़ा शैतान कहता है. मिडिल ईस्ट में 1979 की क्रांति के बाद से ईरान पर अमेरिका तरह-तरह के प्रतिबंध लगाता रहा है. 

बहुत पुरानी है इजराइल और ईरान की दुश्मनी
ईरान हमेशा इजराइल के खिलाफ ही रहा है. दोनों देश, साल 1990 के दशक से ही एक-दूसरे के दुश्मन हैं. दोनों देश एक-दूसरे के खिलाफ खुफिया अभियान चलाते रहे हैं. दोनों ने टार्गेट किलिंग की है. कुद्स फोर्स, शिया लेबनानी आतंकवादी समूह हिजबुल्लाह को सैन्य और आर्थिक मदद देते हैं. ये आतंकी इजराइल में हमला करते हैं. ईरान फिलिस्तीनियों के खिलाफ इजराइली कार्रवाई का विरोध करता रहा है. जब 7 अक्टूबर, 2023 को दक्षिणी इजराइल में हमास के हमले के बाद से ही हालात बिगड़े हुए हैं. इजराइल और हिज़्बुल्लाह लड़ाकों की जंग भयानक हो गई है.