Israel-Iran Conflict: इजरायली सेना ने कहा कि उसकी वायु सेना ने लेबनान के उत्तरी-पूर्वी क्षेत्र में बोडाई शहर के पास और दक्षिणी लेबनान के अल-अहमदिया क्षेत्र के पास एयर स्ट्राइक की है. लेबनान की मीडिया के अनुसार, इन हमलों के बारे में फिलहाल कोई आधिकारिक टिप्पणी इजरायली सुरक्षा बलों (IDF) की ओर से नहीं आई है. बताया जा रहा है कि, इजरायली हवाई हमले में मारे गए हिजबुल्लाह के नेता नसरल्लाह को श्रद्धांजलि देने के लिए बेरूत के बाहरी इलाके में हजारों लोग इकट्ठा हुए थे.
हिज़्बुल्लाह नेता की शवयात्रा के दौरान हुई एयर स्ट्राइक
इन हमलों की रिपोर्ट उस समय आई है, जब लेबनान की राजधानी बेरुत में हिज़्बुल्लाह के नेता हसन नसरल्लाह की शवयात्रा की शुरुआत हो रही है. यह घटना उस समय घटी है, जब हिज़्बुल्लाह के प्रमुख की मौत के बाद उनके समर्थक उन्हें श्रद्धांजलि देने के लिए एकत्र हो रहे थे.
غارة إسرائيلية على جرود بلدة بوداي غربي بعلبك#ملحق pic.twitter.com/EUayZz0QqD
— Mulhak - ملحق (@Mulhak) February 23, 2025
इजरायली हमलों से क्या होगा इलाके में असर
लेबनान में इजरायली वायु हमले एक समय पर हुए हैं, जब क्षेत्र में तनाव चरम पर है. हिज़्बुल्लाह के प्रमुख की मौत और इसके बाद के घटनाक्रम ने इस इलाके में और अधिक संघर्ष की संभावना को जन्म दिया है. इजरायली एयर स्ट्राइक की इस नई लहर को पहले से चल रहे तनाव और संघर्षों के संदर्भ में देखा जा रहा है.
बम धमाके के झटके से हिज़्बुल्लाह नेता हसन नसरल्लाह की मौत
टाइम्स ऑफ इजराइल की एक रिपोर्ट के मुताबिक, इजराइल ने हिज़्बुल्लाह के प्रमुख हसन नसरल्लाह को मारने के लिए 80 टन के बम का इस्तेमाल किया था. यह हमला इतना शक्तिशाली था कि नसरल्लाह की मौत के 20 घंटे बाद उनके शव को मलबे से निकाला गया.
शरीर पर कोई बाहरी चोट के निशान नहीं
रिपोर्ट्स में यह बताया गया है कि नसरल्लाह के शव पर किसी प्रकार के बाहरी चोट के निशान नहीं पाए गए थे. इससे यह स्पष्ट होता है कि उनकी मौत बम के धमाके के प्रत्यक्ष प्रभाव से नहीं, बल्कि धमाके के कारण हुए आंतरिक ट्रॉमा (घातक आघात) से हुई थी.
तेज धमाके से हुआ था ट्रॉमा
इजराइली हमले में हुए बम धमाके की तीव्रता के कारण नसरल्लाह के शरीर पर गहरे आंतरिक घाव बने थे. रिपोर्ट्स के अनुसार, तेज धमाके से हुए ट्रॉमा ने उनकी जान ले ली. यह धमाका इतना जबरदस्त था कि नसरल्लाह की मौत का कारण उसके प्रभाव से होने वाले आंतरिक आघात को ही माना गया.
ट्रॉमा और धमाके की ताकत
विशेषज्ञों के अनुसार, ऐसे भारी बम धमाके से शरीर के अंदरूनी अंगों पर गंभीर असर हो सकता है, जिससे व्यक्ति की मौत हो सकती है, भले ही शरीर पर बाहरी चोटें न हों. इस मामले में भी कुछ ऐसा ही हुआ था, और नसरल्लाह की मौत का कारण इस प्रकार के आंतरिक ट्रॉमा को ही माना गया है.