स्विट्जरलैंड की अपील अदालत ने इस्लामिक विद्वान तारिक रमदान को रेप और यौन उत्पीड़न का दोषी ठहराया है. कोर्ट ने निचली अदालत के उन्हें बरी किये जाने के फैसले को पलट दिया. तारिक स्विट्जरलैंड और फ्रांस में कई आरोपों का सामना कर रहे थे.
62 वर्षीय हाई-प्रोफाइल प्रोफेसर पर आरोप था कि उन्होंने 2008 में एक होटल में एक महिला पर हमला किया था लेकिन कोर्ट ने उन्हें बरी किए जाने के निचली अदालत के आदेश को पलट दिया. यह फैसला 28 अगस्त को सुनाया गया था लेकिन उसे मंगलवार को सार्वजनिक किया गया.
कोर्ट ने सुनाई तीन साल की सजा, दो को किया निलंबित
कोर्ट ने मिश्र में मुस्लिम ब्रदरहुड के संस्थापक हसन-अल बन्ना के पोते को तीन साल की सजा सुनाई, जिसमें से दो को निलंबित कर दिया गया. विद्वान तारिक रमदान ने अपने ऊपर लगे आरोपों का खंडन किया. महिला ने रमदान पर उसका रेप करने और अन्य हिंसक कृत्य करने के आरोप लगाए थे.
Tariq Ramadan (picture), a prominent Islamic scholar and grandson of the Muslim Brotherhood's founder, has been convicted by a Swiss appeals court of rape and sexual coercion, receiving a 3-year prison sentence. He also faces trials in France for similar charges. https://t.co/JuoAQ8EAlX pic.twitter.com/FZSfyLCsht
— 𝐌𝐢𝐜𝐡𝐚𝐞𝐥 𝐀𝐫𝐢𝐳𝐚𝐧𝐭𝐢 (@MArizanti) September 10, 2024
महिला के वकील ने कहा कि उनका कई बार रेप किया गया और उन्हें यातना और बर्बरता का सामना करना पड़ा. पिछले साल एक निचली अदालत ने सबूतों की कमी और विरोधाभासी गवाहों का हवाला देते हुए उन्हें बरी कर दिया था.
अपने भाषणों की वजह से चर्चा में आए थे रमादान
यूरोप की इस्लामी जमात में रमादान एक बहुत ही जाने-पहचाने चेहरा थे. 2000 के दशक में उन्होंने ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय का प्रोफेसर रहते खूब चर्चा बंटोरी थी. इसके बाद वो मध्य पूर्व और एशिया में और यूरोप में भाषण देने के कारण काफी चर्चित हुए. टाइम मैग्जीन ने उन्हें 2004 में दुनिया के 100 सबसे प्रभावशाली सूची की लिस्ट में स्थान दिया था. हालांकि फ्रांस में 2009 में यौन शोषण के आरोप लगने के बाद उनका पतन शुरू हो गया.