Iran Air Strikes Horror: कोलकाता के पास मध्यमग्राम के नीलाब्जा रॉय चौधरी ने बुधवार को इजरायल-ईरान संघर्ष के बढ़ने के साथ कहा कि ये दिन-प्रतिदिन भयावह होता जा रहा है. नीलाब्जा, इजराइल की राजधानी तेल अवीव में बार-इलान यूनिवर्सिटी में मेडिकल की पढ़ाई कर रहे हैं. वहीं, तेल अवीव में केयरगिवर के रूप में काम करने वाले तेलंगाना के राजेश मेडीचेरला ने कहा कि स्थिति कठिन है... हमने इससे पहले कभी इतनी भयावह स्थिति नहीं देखी.
मेडीचेरला ने एक वीडियो शेयर किया जिसमें तेल अवीव में एक इमारत पर मिसाइल गिरती दिखाई दे रही है और वे तेलुगु में कह रहे हैं कि भाई...भाई...पदुतुंडी (भाई, यह गिर रहा है)! उन्होंने आगे कहा कि ये अकल्पनीय था कि मिसाइलें तेल अवीव तक पहुंच जाएंगी.
तेल अवीव और अन्य शहरों पर ईरान के मिसाइल हमलों ने इज़राइल में कई भारतीय कामगारों और छात्रों को बहुत चिंतित कर दिया है. हालांकि वे फिलहाल सुरक्षित हैं, लेकिन डर बढ़ रहा है क्योंकि तनाव और बढ़ सकता है.
Is this a beginning of the WW III?
— Ashutosh Krishna (@IAmKrishnaaX) October 1, 2024
Iran launched a major missile strike that targeted sites across Israel, while Israel’s air defenses attempted to shoot down the incoming fire, Israeli officials said.#Israel #WorldWar3 pic.twitter.com/MYkI1I8ff7
इज़राइल में पढ़ाई और काम कर रहे बंगाल के कई छात्र घर लौटने के लिए बेताब हैं. हालांकि, अधिकांश अंतरराष्ट्रीय फ्लाइट्स के कैंसिल होने से वे निराश हैं. बुधवार को, वे विदेश मंत्रालय से निकासी मार्गदर्शन की प्रतीक्षा कर रहे हैं.
उत्तरी इजराइल के सफ़ेद में रहने वाले रॉय चौधरी ने कहा कि कुछ दिन पहले एक दोस्त के घर से बमुश्किल 100 मीटर की दूरी पर एक बम गिरा था. सीसीटीवी कैमरे ने फुटेज रिकॉर्ड कर ली है. अगला निशाना उनका घर भी हो सकता है. पिछले साल इसराइल-हमास संघर्ष ने हमें ज़्यादा प्रभावित नहीं किया था, लेकिन इस बार यह अलग है.
सफ़ेद और हाइफ़ा जैसे उत्तरी शहरों पर भारी असर पड़ा है, सीमा के नज़दीक के गांवों को खाली कराया जा रहा है. सायरन बजने के कारण निवासियों को घंटों बंकरों में रहने के लिए मजबूर होना पड़ा है. तेलंगाना के पुसपुर सारंगधर ने कहा कि घर पर उनकी कमाई से पांच गुना ज़्यादा मोटी तनख्वाह उन्हें इज़राइल ले आई. सारंगधर ने कहा कि मुझे अपने दो बच्चों की पढ़ाई का खर्च उठाना है, लेकिन संकट के कारण उनके संकल्प की परीक्षा हो रही है.
तेल अवीव जिले के रमत गान शहर में तेलंगाना के लगभग 600 से 700 लोग रहते हैं. लेबनान में हिज़्बुल्लाह पर इज़राइल के हमलों के बाद प्रतिशोध के डर से पिछले महीने कुछ लोग भारत लौट आए थे, लेकिन कई लोग यहीं रह गए.
हाइफ़ा, जो पहले सुरक्षित था, अब संघर्ष का खामियाजा भुगत रहा है. हाइफ़ा यूनिवर्सिटी के पीएचडी स्टूडेंट शंखनावा कुंडू ने कहा कि मिसाइल हमलों और विस्फोटों ने जीवन को भयावह बना दिया है. कुंडू ने कहा कि भारतीय दूतावास ने उनसे सतर्क रहने और स्थानीय सुरक्षा प्रोटोकॉल का पालन करने का आग्रह किया है.