हमास ने शुक्रवार को 4 इजारयली बंधकों को रिहा करने की लिस्ट इजरायल को सौंपी. यह सभी 7 अक्टूबर 2023 से ही हमास के कब्जे में हैं. यह रिहाई एक महत्वपूर्ण मोड़ को दर्शाती है. हाालंकि, लिस्ट मिलने के बाद से इजरायली सरकार थोड़ी टेंशन में हैं. क्योंकि उन्हें उम्मीद थी कि इस लिस्ट में 5 नागरिकों की रिहाई होगी. लेकिन एक का नाम नहीं था. क्योंकि इनकी वापसी के साथ ही यह सवाल भी उठता है कि अब हमास के कब्जे में कितने यहूदी बंधक रह गए हैं.
हमास के मुताबिक, चार महिला सैनिकों को रिहा किया जाएगा. इन चारों का नाम है:
इन महिला सैनिकों की रिहाई के साथ ही इजरायल को उम्मीद है कि वे अपने प्रियजनों से मिल सकेंगी. लेकिन, इस प्रक्रिया में कुछ अड़चनें भी सामने आई हैं.
जब इजरायल को रिहाई की सूची मिली, तो उसमें एक अन्य बंधक, अर्बेल यहुद का नाम नहीं था. यहुद, जो एक 29 साल की महिला नागरिक हैं, 2023 में अपने घर से बंधक बनाई गई थीं. इजरायल सरकार ने उम्मीद जताई थी कि वह भी इस रिहाई प्रक्रिया का हिस्सा होंगी. हालांकि, यहुद को फिलिस्तीनी इस्लामिक जिहाद के कब्जे में रखा गया है, जबकि हमास ने उन्हें छोड़ने का कोई वादा नहीं किया था.
इजरायल की सरकार ने इस मुद्दे पर चर्चा करने के लिए उच्च स्तरीय बैठक की थी, जिसमें प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू और रक्षा मंत्री ने महत्वपूर्ण निर्णय लिया.
हमास ने यह भी घोषणा की है कि इजरायल को उनके खिलाफ बंधक बनी 200 फिलिस्तीनी कैदियों को रिहा करना होगा. इनमें से लगभग 120 कैदी जीवनभर की सजा काट रहे हैं और 80 अन्य कैदी गंभीर अपराधों में सजा पा चुके हैं. इस समझौते के तहत, इजरायल सरकार ने प्रत्येक महिला सैनिक के बदले 50 फिलिस्तीनी कैदियों को रिहा करने का वादा किया है.
हालांकि, चार महिलाओं की रिहाई से इजरायल में खुशी का माहौल है, लेकिन अभी भी कई इजरायली और विदेशी नागरिक हमास की कैद में हैं. रिपोर्ट्स के अनुसार, गाजा में 94 इजराइली और विदेशी नागरिक बंधक बने हुए हैं. इन बंधकों की रिहाई के लिए और प्रयास जारी हैं.
यह रिहाई इजरायल और हमास के बीच तनावपूर्ण संबंधों में एक सकारात्मक कदम हो सकती है, लेकिन इसके बाद भी कई सवाल अनुत्तरित हैं, और पूरी दुनिया की नजरें इस पर टिकी हुई हैं कि क्या बाकी बंधकों को जल्द रिहा किया जाएगा.