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म्यूनिख सिक्योरिटी डॉयलाग में भड़का चीन, बोला- रूस को घातक हथियार देने के दावे झूठे

Russia Ukraine War: म्यूनिख में आयोजित सुरक्षा शिखर सम्मेलन में चीन ने पश्चिमी देशों पर निशाना साधा है. विदेश मंत्री वांग यी ने कहा कि रूस-यूक्रेन संघर्ष को बीजिंग ने कभी भुनाने की कोशिश नहीं की. मॉस्को को हथियार मुहैया कराने के पश्चिमी दावे निराधार हैं.

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Edited By: India Daily Live
Munich Security Conference

Security Conference in Munich : चीन ने म्यूनिख में चल रहे सुरक्षा सम्मेलन में यूक्रेन पर जमकर हमला बोला है. चीन ने कहा कि रूस यूक्रेन के बीच जारी संघर्ष में बीजिंग की भूमिका तटस्थ है. चीन ने मॉस्को को किसी तरह के हथियारों की सप्लाई सुनिश्चत नहीं की है. सम्मेलन में भाग लेने गए चीन के विदेश मंत्री वांग यी ने यूक्रेनी समकक्ष दिमित्रो कुलेबा से कहा कि जिनपिंग प्रशासन ने किसी तरह के हथियारों की सप्लाई का सौदा रूस के साथ नहीं किया है.

चीन ने नहीं उठाया गतिरोध का लाभ 

चीनी विदेश मंत्रालय द्वारा जारी रीडआउट के मुताबिक, शनिवार को यूक्रेनी समकक्ष से वार्ता के दौरान वांग यी ने कहा कि चीन ने दोनों देशों के बीच जारी गतिरोध को समाप्त करने की कोशिश की है. हमने इस स्थिति का कोई लाभ नहीं उठाया है और न ही मॉस्को को किसी प्रकार के हथियारों की आपूर्ति सुनिश्चित की है. यूक्रेन संघर्ष के मसले पर चीन हमेशा से तटस्थ रहा है फिर भी उसे रूस के आक्रमण की निंदा न करने के कारण आलोचनाओं का सामना करना पड़ा है. 

दोनों देशों के मध्य जल्द सामान्य होंगे संबंध 

चीनी विदेश मंत्रालय के रीडआउट के मुताबिक,  वांग यी ने यूक्रेनी विदेश मंत्री को इमरजेंसी में चीनी नागरिकों की सकुशल घर वापसी सुनिश्चित करने में मदद के लिए यूक्रेन का धन्यवाद भी किया. उन्होंने कहा कि यूक्रेन ने उस दौरान जो किया वह चीन कभी नहीं भूल सकता. अंतरराष्ट्रीय परिदृश्य चाहें जो हो बीजिंग दोनों देशों के बीच जल्द ही संबंधों के सामान्य होने की उम्मीद करता है. 

पश्चिमी देशों के आरोप झूठे

रिपोर्ट के अनुसार, चीन और रूस के बीच बीते कुछ सालों में रणनीतिक और सामरिक तौर पर सहयोग मजबूत हुआ है. दोनों देशों के बीच यह साझेदारी रूस के यूक्रेन पर हमले के बाद और ज्यादा भरोसेमंद और व्यापक हुई है. पश्चिमी देश यूक्रेन संघर्ष में चीन पर आरोप लगाते रहें हैं कि वह रूस को कीव को कमजोर करने के लिए  रूस को हथियारों की सप्लाई करता रहा है, लेकिन चीन इन आरोपों पर हमेशा से ही इंकार करता रहा है.