बांग्लादेश में इस्कॉन प्रमुख चिन्मय प्रभु की गिरफ्तारी से वहां रहने वाले हिंदू नाराज हैं. वो उनकी गिरफ्तारी का विरोध कर रहे हैं. वहीं दूसरी तरफ भारत ने पड़ोसी देश में हिंदुओं और अल्पसंख्यकों पर हो रहे अत्याचारों पर अपनी प्रतिक्रिया दी है. भारत के विदेश मंत्रालय ने बांग्लादेश से आग्रह किया है कि वह हिंदुओं और सभी अल्पसंख्यकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने करें.
MEA ने एक बयान में बांग्लादेशी अधिकारियों से ये बात कही. विदेश मंत्रालय ने कहा कि बांग्लादेश में हिंदूओं पर अत्याचार करने वाले अपराधी खुलेआम घूम रहे हैं. जबकि एक धार्मिक नेता के खिलाफ आरोप लगाए गए हैं कि जो शांतिपूर्ण तरीके से सभाएं कर रहे हैं. वो इसके जरिए सरकार के सामने अपनी वैध मांगें प्रस्तुत कर रहे
Our statement on the arrest of Chinmoy Krishna Das:https://t.co/HbaFUPWds0 pic.twitter.com/cdgSx6iUQb
— Randhir Jaiswal (@MEAIndia) November 26, 2024
विदेश मंत्रालय के बयान में कहा गया है कि हमने चिन्मय कृष्ण दास जो बांग्लादेश सम्मिलित सनातन जागरण जोत के प्रवक्ता भी हैं, कि गिरफ्तारी और जमानत न दिए जाने पर गहरी चिंता व्यक्त की है. यह घटना बांग्लादेश में चरमपंथी तत्वों द्वारा हिंदुओं और अन्य अल्पसंख्यकों पर किए गए कई हमलों के बाद हुई है.
विदेश मंत्रालय ने इस बात पर भी चिंता व्यक्त की है कि इन घटनाओं के अपराधी अभी भी खुलेआम घूम रहे हैं, जबकि एक धार्मिक नेता के खिलाफ आरोप लगाए गए हैं, जो शांतिपूर्ण सभाओं के माध्यम से वैध मांगें प्रस्तुत कर रहे थे. विदेश मंत्रालय ने कहा, अल्पसंख्यकों के घरों और व्यापारिक प्रतिष्ठानों में आगजनी और लूटपाट के साथ-साथ चोरी, तोड़फोड़ और देवी-देवताओं और मंदिरों को अपवित्र करने के कई मामले दर्ज हैं.
बयान में कहा गया कि हम श्री दास की गिरफ्तारी के खिलाफ शांतिपूर्ण तरीके से विरोध प्रदर्शन कर रहे अल्पसंख्यकों पर हो रहे हमलों पर भी चिंता व्यक्त करते हैं. हिंदू समूह सम्मिलिता सनातनी जोत के नेता चिन्मय कृष्ण दास की गिरफ्तारी दक्षिण एशियाई देश में अल्पसंख्यक अधिकारों को लेकर तनाव के बीच हुई है, जहां पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना के पद से हटने के बाद से व्यापक राजनीतिक हिंसा देखी गई है.
रिपोर्ट के अनुसार, धार्मिक नेता को सबसे पहले चटगांव में उनके खिलाफ दर्ज राजद्रोह के मामले में ढाका के हजरत शाहजलाल अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे पर हिरासत में लिया गया था. रिपोर्ट में कहा गया है कि चिन्मय कृष्ण दास और 18 अन्य के खिलाफ राजद्रोह का मामला 31 अक्टूबर को चटगाँव में दर्ज किया गया था. बांग्लादेश की 170 मिलियन आबादी में हिंदुओं की संख्या लगभग 8 प्रतिशत है. पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना के सत्ता से बेदखल होने के बाद से मोहम्मद यूनुस के नेतृत्व वाली नई सैन्य समर्थित अंतरिम सरकार को अल्पसंख्यकों के खिलाफ बढ़ती हिंसा को रोकने में विफल रहने के लिए आलोचना का सामना करना पड़ रहा है