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मुइज्जू की जीत के बाद ड्रैगन की मालदीव पर नजर, जानें चीन के क्या हैं 'मंसूबे'?

China Eyes On Maldives: संसदीय चुनाव में पीपुल्स नेशनल कांग्रेस यानी PNC की जीत के बाद चीन की नजर मालदीव पर बनी हुई है. चीन के सपोर्टर माने जाने वाले मुइज्जू और उनकी पार्टी की बंपर जीत के बाद वहां के वोटर्स के प्रति सम्मान व्यक्त करते हुए चीन ने मालदीव के साथ रणनीतिक साझेदारी बढ़ाने की प्रतिबद्धता को दोहराया है.

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Edited By: India Daily Live
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China Eyes On Maldives: मालदीव के संसदीय चुनावों में चीन समर्थक पीपुल्स नेशनल कांग्रेस (पीएनसी) ने 60 से अधिक सीटों के साथ बंपर जीत हासिल किया. पीएनसी राष्ट्रपति मुइज्जू की पार्टी है. मुइज्जू की जीत के बाद चीन की मालदीव पर लगातार नजर बनी हुई है. बीजिंग ने कहा कि वो मालदीव के लोगों की पसंद का पूरा सम्मान करता है. उसने कहा कि हमारा उद्देश्य द्वीपसमूह राष्ट्र के साथ चीन की रणनीतिक साझेदारी को और गहरा करना है.

राष्ट्रपति मोहम्मद मुइज्जू और उनकी पार्टी की विदेश नीति को चीन के समर्थन के रूप में देखा जाता है. कई मौकों पर मालदीव की मुइज्जू सरकार का चीन के प्रति झुकाव भी देखा जा चुका है. चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा है कि हम मालदीव के साथ पारंपरिक मित्रता को आगे बढ़ाने, विभिन्न क्षेत्रों में आदान-प्रदान और सहयोग का विस्तार करने, चीन-मालदीव व्यापक रणनीतिक सहकारी साझेदारी को गहरा करने और अधिक लाभ प्रदान करने के लिए मालदीव के साथ काम करने के लिए तैयार है.

रविवार को संसदीय चुनाव के लिए हुई थी वोटिंग

93 सदस्यों वाली मालदीव संसदीय चुनाव में मुइज्जू की पार्टी ने 90 सीटों पर अपने प्रत्याशियों को उतारा था. रविवार को मालदीव में संसदीय चुनाव के लिए वोटिंग हुई थी. इसमें 66 से ज्यादा सीटों पर मुइज्जू की पार्टी के उम्मीदवारों को जीत हासिल हुई है. कहा जा रहा है कि मुइज्जू की पार्टी की बंपर जीत का मालदीव और भारत के रिश्तों पर असर पड़ना तय है. ऐसा इसलिए क्योंकि मालदीव की विपक्षी मालदीवियन डेमोक्रेटिक पार्टी को भारत का समर्थक माना जाता है. लेकिन नतीजों में चीन समर्थक मुइज्जू की पार्टी को बंपर जीत कुछ और ही इशारा कर रहा है.

रिपोर्ट्स के मुताबिक, 2023 में चीन के राष्ट्रपति बनने के बाद से मुइज्जू सरकार ने कई अहम प्रोजेट्स ड्रैगन को दिए हैं. उन्होंने पिछले कुछ महीने पहले चीन का दौरा भी किया था. मुइज्जू का दौरा उस वक्त हुआ था, जब लक्ष्यद्वीप को लेकर भारत और मालदीव के रिश्तों में कड़वाहट आई थी. 

चीन दौरे से लौटने के बाद मुइ्ज्जू ने कहा भी था कि हम छोटे देश हैं और कोई सोचे कि इस लिहाज से हम किसी के दबाव में आ जाएंगे, तो ऐसा नहीं है. न कोई हमारा किसी बात पर मजाक बना सकता है. चीन से ही लौटने के बाद मुइज्जू ने मालदीव से भारत को अपने सैनिकों को वापस ले जाने की बात कही थी. इसके बाद भारत ने अपने सैनिकों को अलग-अलग खेप में बुला भी लिया है.