Rajkot Gaming zone Fire: राजकोट गेमिंग जोन हादसे के मुख्य आरोपी धवल ठक्कर पर लोगों का गुस्सा फूट रहा है. पुलिस ने धवल ठक्कर को गिरफ्तार कर लिया है. पुलिस ने उसे बनासकंठा क्राइम बांच और राजकोट पुलिस ने राजस्थान में पकड़ा है. गेमिंग जोन में आग लगने के बाद ही वह फरार हो गया था. धवल ठक्कर गेमिंग जोने का मालिक कहा जा रहा है. इस हादसे का मास्टरमाइंड धवल ठक्कर को इसलिए भी कहा जा रहा है क्योंकि इसने बिना नगर निगम और फायर डिपार्टमेंट से सर्टिफिकेट लिए हुए तैयार कराया था.
गेमिंग जोन हादसे के बाद यह शख्स वहां के रेस्क्यू में नहीं जुटा बल्कि मौके से ही फरार हो गया. राजकोट की जिला अदालत ने आरोपी को 14 दिनों की पुलिस रिमांड में भेजा है. इसके अलावा हरि सिंह सोलंकी, नितिन जैन और राठौड़ भी शामिल हैं, जिन्हें जेल भेजा गया है.
कौन है धवल ठक्कर?
धवल ठक्कर, राजस्थान के आबू रोड का रहने वाला है. धवल, हादसे के बाद फरार हो गया था. इस हादसे में 28 लोगों ने जान गंवा दी जिनमें मासूम बच्चे भी शामिल थे. विशेष लोक अभियोजक तुषार गोकानी ने कहा है कि जब आरोपी कोर्ट में दाखिल हुए तो लग रहा था उनके चेहरे पर पछतावा है लेकिन 5 मिनट बात वे हंस पड़ थे.
टीआरपी गेम जोन को युवराज सिंह सोलंकी और राहुल राठौड़ के मैनेजर नितिन जैन पुलिस हिरासत में हैं. धवल ठक्कर, धवल कॉर्पोरेशन के मालिक हैं. रेसवे एंटरप्राइजेज के साझेदार अशोक सिंह जडेजा, किरीज सिंह जडेजा, प्रकाशंद हिरन, युवराज सिंह सोलंकी और राहुल राठौड़ गेमिंग जोन के पार्टनर थे.
गेमिंग जोन के संचालकों पर लगे हैं कौन से केस?
गेमिंग जोन के संचालकों पर IPC की धारा 304, 308, 337, 338 और 114 लगे हैं. सारी धराएं बेहद संगीन हैं. आइए जानते हैं भारतीय दंड संहिता की किस धारा का क्या है मतलब-
1. धारा 304- गैर इरादतन हत्या
2. धारा 308- गैर इरादतन हत्या की कोशिश
3. धारा 337- दूसरों की जिंदगी को जोखिम में डालना
4. धारा 338- किसी व्यक्ति को चोट पहंचाना
5. धारा 114- अपराध होने पर मौजूदगी