अरविंद केजरीवाल के सहयोगी बिभव कुमार इन दिनों खूब चर्चा में हैं. स्वाति मालीवाल से मारपीट करने के आरोप में बिभव कुमार को दिल्ली पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है. स्वाति मालीवाल ने आरोप लगाए हैं कि बिभव कुमार कोई राज न खोल दे इसीलिए उसे बचाया जा रहा है. केजरीवाल के पीए के रूप में चर्चित बिभव कुमार के बारे में हर कोई जानना चाहता है कि आखिर यह शख्स है कौन जो इतना ताकतवर नजर आ रहा है. दो दशक से अरविंद केजरीवाल के साथ काम कर रहे बिभव कुमार के बारे में कहा जाता है कि वह केजरीवाल के साथ उनके साए की तरह रहते हैं और केजरीवाल उन पर आंख मूंदकर भरोसा करते हैं.
मौजूदा समय में केजरीवाल की आंख और कान बने बिभव कुमार एक समय पर वीडियो एडिटर और पत्रकार हुआ करते थे. बाद में वह भी उसी एनजीओ में केजरीवाल के साथ आए जिसमें एक समय पर स्वाति मालीवाल भी काम किया करती थी. अब स्वाति मालीवाल और बिभव कुमार आमने-सामने हैं और इसकी कड़ी भी अरविंद केजरीवाल से ही जुड़ रही है. आइए जानते हैं कि आखिर कौन हैं ये बिभव कुमार?
कौन हैं बिभव कुमार?
-साल 2000 में बिभव कुमार एक पत्रकार और वीडियो एडिटर के पद पर काम करते थे.
-बाद में बिभव मनीष सिसोदिया द्वारा स्थापित एनजीओ कबीर में एक आरटीआई कार्यकर्ता के रूप में काम करने लगे.
-फिर 2006 में वह कबीर और अरविंद केजरीवाल के एनजीओ, पब्लिक कॉज़ रिसर्च फाउंडेशन (पीसीआरएफ) के बीच सहयोगी के रूप में काम किया.
-बिभव कुमार के ऊपर पहली बार मुकेश पाल नामक शख्स द्वारा 1 जून 2007 को मुकदमा दर्ज कराया गया था. जिसमें आरोप था कि बिभव ने नोएडा विकास प्राधिकरण के एक अधिकारी को ड्यूटी के दौरान धमकी दी.
-कुछ समय बाद उन्होंने इंडिया अगेंस्ट करप्शन मैग्जीन के लिए के लिए वीडियो एडिटर के रूप में काम शुरू किया.
-इंडिया अगेंस्ट करप्शन मैग्जीन इंडिया अगेंस्ट करप्शन समूह के सदस्यों द्वारा शुरू की गई एक पत्रिका थी. फिर उसी इंडिया अगेंस्ट करप्शन समूह ने 2011 में विरोध प्रदर्शन आयोजित किया और बाद में यह राजनीतिक दल आम आदमी पार्टी (आप) बन गया.
-बिभव का ताल्लुक बिहार से ही AAP के बड़े नेताओं के साथ है.
-पार्टी सूत्र बताते हैं कि अरविंद केजरीवाल के साथ बिभव की दोस्ती वर्षों पुरानी है.
-बिभव 2006 से ही अरविंद के रोजाना के कार्यक्रम और दूसरे काम को देख रहे थे.
-बाद में 27 फरवरी 2013 को उन्हें दिल्ली सीएम अरविंद केजरीवाल के निजी सचिव के रूप में नियुक्त किया गया था. उनके मूल विभाग को-टर्मिनस, सामान्य प्रशासन विभाग (जीएडी) के रूप में स्थापित किया गया था.
-फिर दोबारा 2020 में AAP के सत्ता में आने के बाद उन्हें फिर से सीएम के निजी सचिव के रूप में नियुक्त किया गया.