Supreme Court Controversy: जस्टिस बी.आर भारत के अगले चीफ जस्टिस बनने जा रहे हैं. गवई ने आज सुप्रीम कोर्ट पर लग रहे अतिक्रमण के आरोपों पर सधी हुई लेकिन तीखी प्रतिक्रिया दी. उन्होंने कहा, ''हम वैसे ही हैं, जैसे हमें होना चाहिए... और वैसे ही रहेंगे.'' यह बयान उन तमाम राजनीतिक आरोपों के बीच आया, जिसमें कहा जा रहा था कि सुप्रीम कोर्ट कार्यपालिका के क्षेत्र में दखल दे रहा है.
बंगाल हिंसा पर केंद्र को निर्देश देने की मांग पर पलटवार
बता दें कि सुनवाई के दौरान जब अधिवक्ता विष्णु शंकर जैन ने पश्चिम बंगाल में हुई हिंसा को लेकर केंद्र को अर्धसैनिक बल तैनात करने का आदेश देने की मांग की, तो जस्टिस गवई ने कहा, ''आप चाहते हैं कि हम राष्ट्रपति को आदेश जारी करें? वैसे ही हम पर कार्यपालिका में अतिक्रमण करने का आरोप लग रहा है, कृपया!''
सुप्रीम कोर्ट का सख्त रुख पर BJP नेताओं की तीखी प्रतिक्रिया
हाल ही में सुप्रीम कोर्ट ने एक फैसले में कहा था कि राज्यपालों द्वारा विधेयकों को अनिश्चितकाल तक रोके रखना संविधान के खिलाफ है. इस पर भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने कहा, ''अगर सुप्रीम कोर्ट ही सब फैसले करेगा तो संसद को बंद कर देना चाहिए.'' वहीं, उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने भी कोर्ट के अनुच्छेद 142 के इस्तेमाल को 'लोकतंत्र के खिलाफ मिसाइल' बताया.
भाजपा ने खुद को किया अलग
इसके अलावा, विवाद बढ़ने के बाद भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कहा कि, ''सांसदों के बयान निजी हैं. पार्टी का इनसे कोई लेना-देना नहीं है. हम इन बयानों को खारिज करते हैं.''