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India Daily

'ये कैसी बेशर्मी है?...आतिशी का विक्ट्री डांस देख फूटा स्वाति मालीवाल का गुस्सा, पूर्व CM को दिखा दिया आइना

दिल्ली महिला आयोग की पूर्व अध्यक्ष और AAP सांसद स्वाति मालीवाल ने पार्टी की वरिष्ठ नेता आतिशी पर तीखा हमला किया. मालीवाल ने शनिवार को आतिशी के जश्न मनाने का एक वीडियो शेयर करते हुए कहा, 'ये कैसी बेशर्मी है?

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Edited By: Babli Rautela
Swati Maliwal
Courtesy: Social Media

Swati Maliwal: दिल्ली विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी (AAP) की हार के बाद, दिल्ली महिला आयोग की पूर्व अध्यक्ष और AAP सांसद स्वाति मालीवाल ने पार्टी की वरिष्ठ नेता आतिशी पर तीखा हमला किया. मालीवाल ने शनिवार को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर आतिशी के जश्न मनाने का एक वीडियो शेयर करते हुए कहा, 'ये कैसी बेशर्मी है? पार्टी हार गई, सभी बड़े नेता हार गए और आतिशी इस तरह जश्न मना रही हैं?”

सोशल मीडिया पर आतिशी का वायरल वीडियो

वीडियो में आतिशी, जो कालकाजी विधानसभा सीट पर भाजपा के रमेश बिधूड़ी को 3,521 मतों से हराकर जीतने में सफल रही थीं, अपने समर्थकों के साथ नाचते हुए नजर आ रही हैं. यह जश्न पार्टी की हार के बावजूद हुआ, और स्वाति मालीवाल ने इस पर अपनी नाराजगी जताई. आतिशी उन कुछ नेताओं में शामिल हैं जिन्होंने दिल्ली विधानसभा चुनाव में जीत हासिल की, जबकि पार्टी के अधिकांश बड़े नेता जैसे अरविंद केजरीवाल, मनीष सिसोदिया और सौरभ भारद्वाज हार गए हैं. मालीवाल ने सार्वजनिक रूप से AAP के नेतृत्व और केजरीवाल के फैसलों पर सवाल उठाए हैं और पार्टी की दिशा से अपनी असहमति व्यक्त की है. 

मालीवाल ने आतिशी पर साधा निशाना

स्वाति मालीवाल ने केजरीवाल के नेतृत्व पर भी निशाना साधते हुए कहा कि राष्ट्रीय राजधानी में हालात खराब हैं, खासकर जब गंदा पानी लोगों के घरों तक पहुंच रहा है. उन्होंने एक सोशल मीडिया पोस्ट में महाभारत के द्रौपदी के चीरहरण को दर्शाती एक पेंटिंग भी शेयर की, जो उनके द्वारा उठाए गए मुद्दों के प्रति उनकी गहरी निराशा को दिखाती है.

दिल्ली चुनाव परिणाम 2025

दिल्ली विधानसभा चुनाव में इस बार भाजपा ने ऐतिहासिक जीत हासिल की है. 1998 के बाद यह पहली बार है जब भाजपा दिल्ली में सरकार बनाने की स्थिति में है. पार्टी ने 70 सीटों में से 48 सीटें जीत ली हैं, जबकि AAP को 22 सीटों पर ही संतोष करना पड़ा. इस हार ने AAP को एक बड़ा झटका दिया और अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व पर सवाल उठने शुरू हो गए हैं. कांग्रेस इस चुनाव में एक भी सीट नहीं जीत सकी और उसका खाता भी नहीं खुल सका.

इस चुनावी नतीजे ने दिल्ली में भाजपा का प्रभाव बढ़ाया है, जबकि AAP को सत्ता की वापसी की चुनौती का सामना करना पड़ा है.