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'हिंदू समाज को तोड़ने की योजना विफल होगी', महाराष्ट्र कांग्रेस चीफ के बयान पर भड़का संत समाज

Sant Samaj Angry Over Nana Patole: महाराष्ट्र कांग्रेस चीफ नाना पटोले के बयान पर संत समाज बिफर गया है. मेडिटेशन फेनोम और आध्यात्मिक गुरु स्वामी दीपांकर और जूना अखाड़े के प्रवक्ता महंत नारायण गिरी ने उन्हें निशाने पर लिया है. नाना पटोले ने राम मंदिर शुद्धिकरण को लेकर बयान दिया था.

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Edited By: India Daily Live
Sant Samaj angry over Nana Patole Maharashtra Congress Chief Purify Ram Temple Remark

Sant Samaj Angry Over Nana Patole: इंडिया गठबंधन की सरकार बनने के बाद राम मंदिर के शुद्धिकरण वाले बयान को लेकर महाराष्ट्र कांग्रेस चीफ नाना पटोले घिर गए हैं. संत समाज ने नाना पटोले के बयान को लेकर उन्हें निशाने पर लिया है. संत समाज ने पूछा है कि आखिर महाराष्ट्र कांग्रेस चीफ किस शुद्धिकरण की बात कर रहे हैं?

राम मंदिर को लेकर महाराष्ट्र कांग्रेस अध्यक्ष नाना पटोले के बयान पर स्वामी दीपांकर ने कहा कि महाराष्ट्र कांग्रेस अध्यक्ष ने राम मंदिर के बारे में जो कहा उससे मैं बहुत आश्चर्यचकित हूं. देश ने प्राण प्रतिष्ठा देखी और कुछ समय पहले राष्ट्रपति भी राम मंदिर गईं थीं. मैं समझ नहीं पा रहा हूं कि वे किस शुद्धिकरण की बात कर रहे हैं...उनकी सोच आश्चर्यजनक है. रामराज्य में ऐसे विचारों के लिए कोई जगह नहीं है.

जूना अखाड़े के प्रवक्ता ने पूछा- कौन करेगा शुद्धिकरण?

राम मंदिर को लेकर महाराष्ट्र कांग्रेस अध्यक्ष नाना पटोले के बयान पर जूना अखाड़े के प्रवक्ता महंत नारायण गिरी की भी प्रतिक्रिया आई है. उन्होंने कहा कि ये एक धार्मिक व्यक्ति का बयान है? मैं उनसे पूछता हूं कि कौन सा धार्मिक व्यक्ति है? महंत नारायण गिरी ने कहा कि कांग्रेस ने सब कुछ किया ताकि राम मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा न हो... राम मंदिर का शुद्धिकरण कौन करेगा? उनके (कांग्रेस) लिए यह दुखद है कि देश के एक ओबीसी प्रधानमंत्री ने 4000 संतों के सामने प्राण प्रतिष्ठा की...हिंदू समाज को तोड़ने की योजना फिर कभी सफल नहीं होगी. 

महाराष्ट्र कांग्रेस चीफ ने राम मंदिर को लेकर क्या कहा था?

महाराष्ट्र कांग्रेस प्रमुख नाना पटोले ने उत्तर प्रदेश के अयोध्या में राम मंदिर पर अपनी टिप्पणी से एक बड़ा विवाद खड़ा कर दिया है. उन्होंने एक दिन पहले कहा था कि केंद्र में सत्ता में आने पर विपक्षी इंडिया गठबंधन राम मंदिर का शुद्धिकरण करेगा. पटोले ने न्यूज एजेंसी आईएएनएस को बताया कि हम राम मंदिर का शुद्धिकरण करेंगे. ये सिर्फ इंडिया गठबंधन नहीं कह रहा है. सनातन धर्म के शंकराचार्य भी इस बात से सहमत हैं कि हमें राम मंदिर का शुद्धिकरण करने की जरूरत है.

कांग्रेस नेता ने कहा कि जिस तरह से नरेंद्र मोदी ने शंकराचार्यों की सलाह के खिलाफ रामलला की प्राण प्रतिष्ठा की, हम उसे ठीक करेंगे. देश जानता है कि उन्होंने गलत तरीके से पूजा की. शंकराचार्यों ने कहा है कि यह तरीका नहीं था. जनवरी में मंदिर के उद्घाटन से पहले, चार में से दो शंकराचार्य ने मानदंडों का पालन करने में विफलता और कार्यक्रम में पॉलिटिकल एंगल का हवाला देते हुए घोषणा की थी कि वे इस कार्यक्रम में शामिल नहीं होंगे. 

भाजपा ने भी की पटोले के बयान की निंदा

भाजपा नेताओं ने भी नाना पटोले के बयान पर आपत्ति जताई और कांग्रेस पर हिंदुओं के हितों को नुकसान पहुंचाने का काम करने का आरोप लगाया. महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम देवेंद्र फडनवीस ने कहा कि ये कांग्रेस पार्टी के वे लोग हैं जिन्होंने सुप्रीम कोर्ट में हलफनामा देकर भगवान राम के अस्तित्व को चुनौती दी थी. उन्होंने हलफनामा देकर राम सेतु के अस्तित्व को भी चुनौती दी थी. ये सवाल पूछते थे कि राम काल्पनिक थे या वास्तविक?

उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने जानबूझकर राम मंदिर मुद्दे को भटकाया, जबकि बीजेपी सरकार ने सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने के बाद ही मंदिर बनाना शुरू कर दिया. महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम ने कहा कि अगर इसका श्रेय किसी को जाता है तो वह पीएम मोदी को जाता है. वे उन सभी लोगों को श्रद्धांजलि देते हैं जिन्होंने राम मंदिर बनाने के लिए 495 वर्षों तक प्रयास किया. कांग्रेस ने कुछ नहीं किया और सबसे बड़ी बात यह है कि उन्होंने रामलला के मंदिर के उद्घाटन समारोह का बहिष्कार किया. मेरा मानना ​​है कि जो लोग भगवान राम को नकारते हैं और मंदिर का बहिष्कार करते हैं, उन्हें यह कहने का कोई अधिकार नहीं है.

शाइना एनसी ने भी कांग्रेस को घेरा, कहा- इन्हें आस्था, विश्वास के ज्ञान ही नहीं

भाजपा नेता शाइना एनसी ने कांग्रेस की आलोचना करते हुए कहा कि कांग्रेस को आस्था, विश्वास या सांस्कृतिक लोकाचार के बारे में कुछ भी ज्ञान नहीं है. उन्होंने कहा कि नाना पटोले ने हमेशा हास्यास्पद टिप्पणियां की हैं और यह कहने के लिए कि पहले रामलला को शुद्ध करने की जरूरत है, मैं कहूंगी कि कांग्रेस पार्टी और उसकी विचार प्रक्रिया को शुद्ध करने की जरूरत है, उसके बाद ही आपको अयोध्या और रामलला पर टिप्पणी करनी चाहिए.