Prabodhanand Controversial Statement On Sai Baba: विशेष बातचीत में हिंदू रक्षा सेवा के राष्ट्रीय अध्यक्ष, प्रबोधानंद महाराज ने साईं बाबा के बारे में कई विवादित दावे किए. उन्होंने कहा कि साईं बाबा वास्तव में एक मुसलमान थे. इतना ही नहीं उन्होंने उन्हें शराबी तक बता दिया. प्रबोधानंद महाराज ने यह भी आरोप लगाया कि साईं बाबा के जीवन और कर्मों को छिपाने का एक संगठित प्रयास किया गया. इसको उन्होंने हिंदुओं को गुमराह करने के लिए एक व्यापारिक योजना के रूप में परिभाषित किया. अब उनका ये बयान जमकर वायरल हो रहा है.
प्रबोधानंद महाराज के अनुसार, साईं बाबा के चमत्कार और उनके साथ जुड़े हुए कथित कार्य एक साजिश का हिस्सा थे, जिसे व्यापारिक लोगों ने उनकी लोकप्रियता से लाभ उठाने के लिए गढ़ा था. उन्होंने कहा कि इन लोगों ने साईं के चमत्कार और कार्यों को झूठा गढ़ा और व्यापारियों ने सच्चाई को छिपाकर हिंदुओं को धोखा दिया.
महाराज के ये बयान हाल ही में उठे विवादों के बीच आए हैं, जिनमें भारत के एक प्रमुख स्थान से साईं बाबा की मूर्ति को हटाने का मामला प्रमुख है. इस निर्णय ने सांस्कृतिक और धार्मिक भावनाओं के बारे में गरम बहस छेड़ दी है. कुछ लोगों ने इसे हिंदू मान्यताओं के खिलाफ बताया, जबकि साईं बाबा के अनुयायियों में इसका भारी विरोध हुआ.
महाराज के इन बयानों ने साईं बाबा की पहचान और उनके कथानकों पर फिर से बहस छेड़ दी है. यह चर्चा आस्था, व्यापार और ऐतिहासिक व्याख्याओं के सामाजिक प्रभावों पर महत्वपूर्ण प्रश्न उठाती है. प्रबोधानंद महाराज के बयानों ने निस्संदेह एक बड़ा विवाद खड़ा कर दिया है, जो इस बात पर चर्चा को प्रेरित कर रहा है कि धार्मिक व्यक्तित्वों का व्यवसायीकरण कैसे हो रहा है.
अखिल भारतीय संत समिति के नेतृत्व में एक हिंदू संगठन ने वाराणसी के कई मंदिरों से साईं बाबा की मूर्तियों को हटा दिया है. यह दावा करते हुए कि उनकी शिक्षाएं हिंदू सिद्धांतों से मेल नहीं खाती हैं. इस विवादित कदम ने साईं बाबा के अनुयायियों के बीच भारी आक्रोश पैदा कर दिया है, जो इसे धार्मिक समावेशिता पर हमला मानते हैं.