केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कांग्रेस पार्टी के सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स अकाउंट पर उनके बारे में कथित अपमानजनक कंटेट शेयर के लिए कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और महासचिव जयराम रमेश को कानूनी नोटिस भेजा है. नितिन गडकरी के वकील बालेंदु शेखर ने कहा कि नितिन गडकरी का इंटरव्यू तोड़-मरोड़कर पेश किया गया और फिर उसे पोस्ट किया गया. इस वीडियो का अर्थ ही छिपा दिया गया है. भेजे गए नोटिस के मुताबिक इंटरव्यू के प्रासंगिक इरादे और अर्थ को छिपाकर 19 सेकंड की ऑडियो और विज़ुअल क्लिपिंग की गई. इसके लिए लिखित माफी मांगी जानी चाहिए.
नोटिस में इस बात का जिक्र किया गया है कि जनता की नजरों में गडकरी के खिलाफ भ्रम, सनसनी फैलाने के इरादे से यह वीडियो शेयर किया गया है. यह बीजेपी की एकजुटता में दरार पैदा करने की नाकाम कोशिश है. कांग्रेस ने वीडियो अपलोड किया है फिर उसके बाद इंटरव्यू के एक हिस्से को तोड़-मरोड़कर सोशल मीडिया पर जमकर प्रचारित किया. जिसका मौजूदा हालात से दूर दूर तक कोई लेना-देना नहीं है.
यह वीडियो द लल्लनटॉप के साथ नितिन गडकरी के इंटरव्यू से ली गई एक क्लिप थी. कांग्रेस ने इस क्लिप को एक्स पर अन्याय का कबूलनामा कैप्शन के साथ पोस्ट करते हुए लिखा "आज गांव, मजदूर और किसान दुखी है. गांव में अच्छी सड़कें नहीं हैं, पीने के लिए शुद्ध पानी नहीं है, अच्छे अस्पताल नहीं हैं, अच्छे स्कूल नहीं हैं. मोदी सरकार के मंत्री नितिन गडकरी."
गडकरी ने नोटिस में 24 घंटे में वीडियो हटाने और 3 दिन के अंदर लिखित माफीनामे की मांग की है. नोटिस में उन्होंने कहा कि अगर ऐसा नहीं किया जाता है तो मेरे मुवक्किल के पास आपके जोखिम और खर्च पर नागरिक और आपराधिक सभी कार्रवाइयों का सहारा लेने के अलावा कोई और विकल्प नहीं बचेगा.