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NEET-UG 2024: ग्रेस मार्क से बने थे टॉपर, दोबारा देनी पड़ी परीक्षा तो घर से ही नहीं निकले सैकड़ों स्टूडेंट

NEET-UG 2024: मेडिकल कोर्सेज में UG एडिमिशन के लिए आयोजित कराए गए NEET-UG-2024 के एग्जाम में अभी भी पेपरलीक की खबरों के बीच देश भर में विरोध प्रदर्शन देखने को मिल रहा है. हालांकि एनटीए ने सुप्रीम कोर्ट के आर्डर पर ग्रेस मार्क हासिल करने वाले छात्रों के नंबर्स हटाकर 23 जून को रिटेस्ट का आयोजन कराया था. चंडीगढ़, छत्तीसगढ़, गुजरात, हरियाणा और मेघालय के केन्द्रों पर आयोजित की गई इस परीक्षा में 1563 में से सिर्फ 813 अभ्यर्थी ही दोबारा टेस्ट देने के लिए पहुंचे थे.

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Edited By: India Daily Live
NEET-UG-2024
Courtesy: Social/Twitter

NEET-UG 2024: राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी (एनटीए) की ओर से आयोजित नीट (UG) परीक्षा में गड़बड़ी के आरोपों के बीच रविवार को फिर से परीक्षा देने वाले उम्मीदवारों की संख्या कम रही. कुल 1563 छात्रों को अनुग्रह अंक दिए गए थे, जिनमें से केवल 813 छात्र ही फिर से परीक्षा देने के लिए उपस्थित हुए. शेष 750 से अधिक छात्र परीक्षा में अबसेंट रहे.

कहां आयोजित हुई थी दोबारा परीक्षा

NEET-UG-2024 की दोबारी परीक्षा चंडीगढ़, छत्तीसगढ़, गुजरात, हरियाणा और मेघालय के विभिन्न केंद्रों में आयोजित की गई.

  • छत्तीसगढ़ में 602 पात्र उम्मीदवारों में से 291 उपस्थित हुए.
  • हरियाणा में 494 में से 287 और मेघालय में 464 में से 234 छात्र परीक्षा देने पहुंचे.
  • चंडीगढ़ में दोनों पात्र उम्मीदवार अबसेंट रहे.
  • गुजरात के केंद्र में केवल एक छात्र उपस्थित हुआ.

क्यों कराई गई दोबारा परीक्षा?

छह परीक्षा केंद्रों पर परीक्षा शुरू होने में देरी के कारण खोए हुए समय की भरपाई के लिए छात्रों को अनुग्रह अंक दिए गए थे. बाद में राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी ने इन अनुग्रह अंकों को वापस ले लिया और प्रभावित छात्रों के लिए फिर से परीक्षा आयोजित करने का फैसला किया.

नीट परीक्षा में क्या हुआ?

नीट परीक्षा मेडिकल कॉलेजों (एमबीबीएस, बीडीएस) और आयुष सहित अन्य संबंधित पाठ्यक्रमों में प्रवेश के लिए आयोजित की जाती है. इस वर्ष 5 मई को 4,750 केंद्रों पर लगभग 24 लाख छात्रों ने परीक्षा दी थी. परिणाम 14 जून को घोषित होने थे, लेकिन कथित तौर पर उत्तर पुस्तिकाओं का मूल्यांकन जल्दी पूरा हो जाने के कारण 4 जून को ही घोषित कर दिए गए.

NEET परीक्षा में क्या गड़बड़ी हुई?

परीक्षा परिणाम आने के बाद बवाल मच गया. कुल 67 छात्रों ने पूरे 720 अंक प्राप्त किए, जो एनटीए के इतिहास में अभूतपूर्व था. हरियाणा के फरीदाबाद के एक केंद्र से छह छात्रों के 720 अंक प्राप्त करने से भी अनियमितता का संदेह पैदा हुआ. बिहार सहित कुछ राज्यों में प्रश्नपत्र लीक होने और अन्य अनियमितताओं के आरोप भी लगे. इन आरोपों के चलते कई शहरों में विरोध प्रदर्शन हुए और उच्च न्यायालयों तथा सर्वोच्च न्यायालय में याचिकाएं भी दायर की गईं.

अब तक क्या कार्रवाई हुई?

  • बिहार पुलिस ने कथित प्रश्नपत्र लीक मामले में मुख्य संदिग्ध सिकंदर यादवेंद्र सहित 13 लोगों को गिरफ्तार किया है.
  • केंद्र सरकार ने एनटीए के महानिदेशक सुबोध सिंह को हटा दिया है और जांच सीबीआई को सौंप दी है.
  • केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय ने एनटीए के कामकाज की समीक्षा करने और परीक्षा सुधारों की सिफारिश करने के लिए सात सदस्यीय समिति का भी गठन किया है.
  • सीबीआई ने भी कथित अनियमितताओं के संबंध में प्राथमिकी दर्ज कर ली है.

छात्रों की उपस्थिति कम होने के कारणों का अभी पता नहीं चल पाया है. कुछ का मानना है कि छात्रों को फिर से परीक्षा देने में असुविधा हुई होगी, जबकि अन्य का कहना है कि ये छात्र पहले ही बेहतर कॉलेजों में प्रवेश ले चुके होंगे. हालांकि, इतनी बड़ी संख्या में छात्रों का अबसेंट होना इस पूरे मामले को और पेचीदा बना देता है.