Maharashtra Politics: महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री और शिवसेना (UBT) चीफ उद्धव ठाकरे ने मंगलवार को एक बार फिर केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी को 'खुला ऑफर' दिया. उद्धव ने कहा कि अगर उनका (नितिन गडकरी) अपमान किया जा रहा है तो वे भाजपा छोड़ दें. उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र में विपक्ष लोकसभा चुनाव में उनकी जीत सुनिश्चित करेगा.
पूर्वी महाराष्ट्र के यवतमाल जिले के पुसाद में एक रैली को संबोधित करते हुए मंगलवार को उद्धव ने कहा कि पूर्व कांग्रेस नेता कृपाशंकर सिंह जैसे लोग, जिन्हें भाजपा ने एक बार कथित भ्रष्टाचार को लेकर निशाना बनाया था, प्रधानमंत्री नरेंद्र के साथ लोकसभा चुनाव के लिए भाजपा के 195 उम्मीदवारों की पहली सूची में शामिल थे, लेकिन गडकरी का नाम गायब था.
उद्धव ने कहा कि मैंने दो दिन पहले गडकरी से कहा था, मैं इसे फिर से दोहरा रहा हूं. यदि आपका अपमान किया जा रहा है, तो भाजपा छोड़ दें और महा विकास अघाड़ी (शिवसेना यूबीटी, राकांपा शरद पवार और कांग्रेस का गठबंधन) में शामिल हो जाएं. हम सभी मिलकर आपकी जीत सुनिश्चित करेंगे. जब हमारी सरकार सत्ता में आएगी तो हम आपको मंत्री बनाएंगे और ये शक्तियों वाला पद होगा.
पिछले हफ्ते, ठाकरे की ओर से गडकरी को विपक्ष के उम्मीदवार के रूप में चुनाव लड़ने की पेशकश का जवाब देते हुए, महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फड़नवीस ने सेना (यूबीटी) चीफ का मजाक उड़ाया था और कहा था कि ये सड़क पर किसी आदमी की अमेरिकी राष्ट्रपति बनाने की पेशकश करने जैसा है.
फड़नवीस ने कहा था कि नितिन गडकरी भाजपा के एक प्रमुख नेता हैं, लेकिन पहली सूची में महाराष्ट्र से उनका नाम नहीं था, क्योंकि भाजपा और उसके सहयोगियों के बीच सीट बंटवारे पर चर्चा पूरी नहीं हुई है. इस बीच, उद्धव ठाकरे ने नागरिकता संशोधन अधिनियम (CAA) के तहत नियमों की अधिसूचना को चुनावी जुमला करार दिया. ठाकरे ने कहा कि पड़ोसी देशों (पाकिस्तान, बांग्लादेश, अफगानिस्तान) से भारत आने वाले हिंदुओं, सिखों, पारसियों और अन्य लोगों का स्वागत है, लेकिन अधिसूचना का समय संदिग्ध है क्योंकि चुनाव जल्द ही घोषित किए जाएंगे.
महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने कहा कि अनुच्छेद 370 को हटाए हुए चार साल से अधिक समय हो गया है, लेकिन जम्मू-कश्मीर में कोई चुनाव नहीं हुआ है और कश्मीरी पंडित अभी तक कश्मीर में अपने घरों को नहीं लौटे हैं. ठाकरे ने ये भी कहा कि भाजपा को पहले कश्मीरी पंडितों को कश्मीर वापस लाना चाहिए और फिर सीएए लागू करना चाहिए.
उन्होंने कहा कि आने वाले चुनाव में बीजेपी है जो धर्मों के बीच दुश्मनी पैदा कर रही है और संविधान बदलना चाहती है. उन्होंने कहा कि दूसरी तरफ इंडिया ब्लॉक है जो देशभक्तों का गठबंधन है. उन्होंने कहा कि एक ओर 'देश-भक्त' हैं, जो अपने देश से प्यार करते हैं और 'द्वेष भक्त' हैं, जो नफरत का प्रचार करते हैं. उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी को अभी तक अशांत मणिपुर का दौरा करने का समय नहीं मिला है.