मध्य प्रदेश सरकार का बड़ा फैसला, 19 धार्मिक शहरों में लागू की शराबबंदी
मुख्यमंत्री मोहन यादव ने इस शराबबंदी की घोषणा की थी, जिसे 24 जनवरी को महेश्वर शहर में आयोजित कैबिनेट बैठक में मंजूरी दी गई.

मध्य प्रदेश सरकार ने राज्य के 19 धार्मिक शहरों और चयनित ग्राम पंचायत क्षेत्रों में शराब पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने का फैसला किया है, जो 1 अप्रैल से लागू होगा. एक सरकारी अधिकारी ने सोमवार को इसकी जानकारी दी. इस निर्णय के तहत उज्जैन, ओंकारेश्वर, महेश्वर और ओरछा सहित कई महत्वपूर्ण धार्मिक स्थलों पर शराब की बिक्री और खपत पर रोक लगेगी.
कैबिनेट ने दी मंजूरी
मुख्यमंत्री मोहन यादव ने इस शराबबंदी की घोषणा की थी, जिसे 24 जनवरी को महेश्वर शहर में आयोजित कैबिनेट बैठक में मंजूरी दी गई. महेश्वर का लोकमाता अहिल्याबाई होलकर से गहरा ऐतिहासिक और सांस्कृतिक जुड़ाव है. इस फैसले को धार्मिक और सांस्कृतिक मूल्यों के संरक्षण की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है.
किन क्षेत्रों में लागू होगा प्रतिबंध?
अधिकारी के अनुसार, यह प्रतिबंध उज्जैन, ओंकारेश्वर, महेश्वर, मंदलेश्वर, ओरछा, मैहर, चित्रकूट, दतिया, पन्ना, मंडला, मुलताई, मंदसौर और अमरकंटक के पूरे शहरी क्षेत्रों में लागू होगा. इसके अलावा, सलकनपुर, कुंडलपुर, बंडकपुर, बरमानकला, बरमानखुर्द और लिंगा की ग्राम पंचायत सीमाओं में भी शराब की बिक्री बंद होगी. इन क्षेत्रों में सभी शराब की दुकानें और बार बंद कर दिए जाएंगे.
धार्मिक महत्व को संरक्षण
इस कदम का उद्देश्य इन धार्मिक स्थलों की पवित्रता को बनाए रखना और तीर्थयात्रियों के लिए एक शुद्ध वातावरण सुनिश्चित करना है. मध्य प्रदेश सरकार का यह निर्णय स्थानीय लोगों और धार्मिक संगठनों की लंबे समय से चली आ रही मांग को पूरा करता है. सरकार का मानना है कि इससे न केवल धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा, बल्कि सामाजिक समस्याओं में भी कमी आएगी.