Lok Sabha Elections 2024: लोकसभा चुनाव से पहले महाराष्ट्र में शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे ने एक बड़ी चाल चलने की कोशिश की है. उद्धव ठाकरे ने भाजपा के वरिष्ठ नेता और केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी को शिवसेना में शामिल होने का न्योता दे डाला है. इतना ही नहीं, गडकरी को सरकार बनने पर बड़ा पद देने की भी पेशकश की गई है. हालांकि नितिन गडकरी ने उद्धव ठाकरे के बयान का करारा जवाब दिया है.
इस बयान पर भाजपा के केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने उद्धव ठाकरे के निमंत्रण को अपरिपक्व और हास्यास्पद बताया है. उन्होंने कहा है कि भाजपा के पास आगामी लोकसभा चुनावों के लिए उम्मीदवारों के चयन का एक सिस्टम है. इसलिए शिवसेना (यूबीटी) नेता को भाजपा के नेताओं के बारे में चिंता करने की जरूरत नहीं है.
मंगलवार को महाराष्ट्र के यवतमाल जिले में एक रैली को संबोधित करते हुए ठाकरे ने कहा था कि (पूर्व कांग्रेस नेता) कृपाशंकर सिंह जैसे लोग, जिन्हें भाजपा ने एक बार भ्रष्टाचार के लिए निशाना बनाया था, पीएम मोदी के साथ भाजपा के उम्मीदवारों की पहली सूची में शामिल हैं, लेकिन गडकरी का नाम गायब है.
उन्होंने कहा कि मैंने दो दिन पहले गडकरी को यह बताया था और मैं इसे फिर से दोहरा रहा हूं. यदि आपका अपमान किया जा रहा है, तो भाजपा छोड़ दें और महा विकास अघाड़ी (एमवीए) में शामिल हो जाएं. हम आपकी जीत सुनिश्चित करेंगे. जब हमारी सरकार सत्ता में आएगी तो हम आपको मंत्री बनाएंगे और शक्तिशाली पद देंगे.
विपक्षी एमवीए में शिवसेना (यूबीटी), शरद पवार के नेतृत्व वाली राकांपा (सपा) और कांग्रेस शामिल हैं. उद्धव ठाकरे के बयान के बारे में पूछे जाने पर नितिन गडकरी ने मंगलवार को इस सुझाव को खारिज कर दिया और उन्होंने कहा कि शिवसेना (यूबीटी) नेता को भाजपा नेताओं के बारे में टेंशन लेने की कोई जरूरत नहीं है.
उन्होंने न्यूज एजेंसी को बताया कि ठाकरे का सुझाव अपरिपक्व और हास्यास्पद है. ठाकरे का सुझाव आगामी लोकसभा चुनाव के लिए महाराष्ट्र में टिकटों बंटवारे पर भाजपा की चर्चा से काफी पहले आया था. पिछले हफ्ते विपक्ष के उम्मीदवार के रूप में चुनाव लड़ने के लिए गडकरी को ठाकरे की पेशकश का जवाब देते हुए, महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस ने शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख का मजाक उड़ाया. कहा कि यह सड़क पर चल रहे एक आदमी द्वारा किसी को अमेरिकी राष्ट्रपति बनाने की पेशकश करने जैसा है.
डिप्टी सीएम देवेंद्र फडनवीस ने कहा था कि गडकरी भाजपा के एक प्रमुख नेता हैं, लेकिन पहली सूची में महाराष्ट्र से उनका नाम नहीं था, क्योंकि भाजपा और उनके सहयोगियों के बीच सीट बंटवारे पर चर्चा पूरी नहीं हुई थी. इस बीच ठाकरे ने नागरिकता (संशोधन) अधिनियम के तहत नियमों की अधिसूचना को चुनावी जुमला करार दिया.