संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने रविवार को विपक्ष के नेता राहुल गांधी की आलोचना की और उन पर तंज कसा. राहुल गांधी ने एक दिन पहले यानी शनिवार को 'संविधान सम्मान सम्मेलन' के दौरान मिस इंडिया लिस्ट में दलितों और आदिवासियों के न होने के बारे में टिप्पणी की थी.
रिजिजू ने एक्स को अपनी तीखी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि अब, वे मिस इंडिया प्रतियोगिताओं, फिल्मों, खेलों में आरक्षण चाहते हैं! ये केवल बाल बुद्धि का मुद्दा नहीं है, बल्कि जो लोग उनका समर्थन करते हैं, वे भी उतने ही जिम्मेदार हैं. किरेन रिजिजू ने अपनी पोस्ट में कहा कि बाल बुद्धि मनोरंजन के लिए अच्छी हो सकती है, लेकिन अपनी विभाजनकारी चालों में, हमारे पिछड़े समुदायों का मजाक न उड़ाएं.
Now, He wants reservations in Miss India competitions, Films, sports! It is not only issue of "Bal Budhi", but people who cheer him are - equally responsible too!
— Kiren Rijiju (@KirenRijiju) August 25, 2024
बाल बुद्धि मनोरंजन के लिए अच्छी हो सकती है पर अपनी विभाजनकारी चालों में, हमारे पिछड़े समुदायों का मजाक न उड़ाएं। pic.twitter.com/9Vm7ITwMJX
इससे पहले पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष ने तर्क दिया था कि देश अपनी 90 प्रतिशत आबादी की भागीदारी के बिना प्रभावी ढंग से काम नहीं कर सकता. उन्होंने दलित, आदिवासी और ओबीसी महिलाओं को मिस इंडिया सूची से बाहर रखने की आलोचना करते हुए कहा कि मैंने मिस इंडिया की सूची देखी है, जिसमें कोई भी दलित, आदिवासी या ओबीसी महिला नहीं है. कुछ लोग क्रिकेट या बॉलीवुड के बारे में बात करेंगे. कोई भी मोची या प्लंबर को नहीं दिखाएगा. यहां तक कि मीडिया के शीर्ष एंकर भी 90 प्रतिशत से नहीं हैं.
राहुल गांधी ने देश की मुख्यधारा के मीडिया से सवाल किया और पूछा कि वे कहेंगे कि मोदीजी ने किसी को गले लगाया और हम महाशक्ति बन गए. जब 90 प्रतिशत लोगों की कोई भागीदारी नहीं है, तो हम महाशक्ति कैसे बन गए?
विपक्ष के नेता ने ये भी दावा किया कि भाजपा उन पर जाति जनगणना के लिए उनके आह्वान के साथ देश को विभाजित करने की कोशिश करने का आरोप लगा सकती है. उन्होंने कहा कि हम जानना चाहते हैं कि संस्थानों, कॉरपोरेट्स, बॉलीवुड और मिस इंडिया में कितने लोग 90 प्रतिशत से हैं. मैं केवल इतना कह रहा हूं कि 90 प्रतिशत लोगों की 'भागीदारी' नहीं है और इसकी जांच होनी चाहिए.