menu-icon
India Daily

स्वतंत्रता दिवस पर आतंकियों ने दिया जख्म! डोडा में सेना का कैप्टन शहीद, कब थमेगा शहादतों का सिलसिला?

जम्मू और कश्मीर से स्वतंत्रता दिवस से एक दिन पहले एक ऐसी खबर आई है, जिस पर पूरा देश स्तब्ध है. जम्मू संभाग के डोडा इलाके में सुरक्षाबलों और आतंकियों के बीच हुई मुठभेड़ में सेना का एक कैप्टन शहीद हो गया है. डोडा में आतंकी पटनीटोप इलाके से घुसे हैं और सुरक्षाबलों की मुश्किलें बढ़ा रहे हैं. कुछ आतंकियों को भी गोली लगी है लेकिन वे मौके से फरार हो गए हैं.

auth-image
Edited By: India Daily Live
DODA
Courtesy: Social Media

जम्मू और कश्मीर और पीर पंजाल की गगनचुंबी पाहड़ियां. आतंकियों के लिए ये सुरक्षित पनाहगार बन गई हैं. यही वजह है कि यहां आतंकी इतनी आसानी से छिप जाते हैं कि वे हमारे जावानों की जान ले रहे हैं. सबसे खतरनाक इलाकों में अचानक डोडा शुमार हो गया है. जहां एक तरफ देश स्वतंत्रता दिवस की तैयारियों में डूबा है, जम्मू और कश्मीर से एक दर्दनाक खबर सामने आई है. डोडा जिले के असार इलाके में आतंकियों और सेना के बीच मुठभेड़ हुई, जिसमें कैप्टन दीपक सिंह शहीद हो गए हैं. इस हमले में करीब 4 आतंकी भी ढेर हुए हैं.

राष्ट्रीय राइफल्स के जवान एक इनपुट पर जंगल में आतंकियों के खिलाफ जारी सर्च ऑपरेशन को अंजाम दे रहे थे. अचानक आंतकी हमला हुआ और सेना के एक जवान ने जान गंवा दी. जवान, कैप्टन रैंक का अधिकारी था. डोडा इलाके में सुरक्षाबलों को एक एम4 राइफल और कुछ कपड़े बरामद हुए थे. 

डोडा में कैप्टन हुए शहीद

रक्षा मंत्रालय के अधिकारियों ने कहा, 'भारतीय सेना का कैप्टन, राष्ट्रीय राइफल्स 48 में तैनात एक कैप्टन शहीद हो गया है. डोडा के अस्सार इलाके में जवान पर हमला हुआ, उसने मौके पर ही दम तोड़ दिया. पूरे इलाके सेना सर्च ऑपरेशनचला री है. आतंकी पहाड़ियों में छिपे हैं. ऐसे इनपुट हैं कि शिवगढ़-अस्सार बेल्ट में ही आतंकी फैले हुए हैं. कुछ आतंकियों को गोली भी लगी है क्योंकि सर्च ऑपरेशन के दौरान खून के धब्बे नजर आ रहे हैं. सुरक्षाबल अब सधे कदमों से आगे की ओर बढ़ रहे हैं. आर्मी के व्हाइट नाइट कॉर्प्स ने इससे जुड़ा एक पोस्ट किया है.

पटनीटोप इलाके में जारी है सर्च ऑपरेशन 

व्हाइट नाइट कॉर्प्स ने पोस्ट किया, 'एक खुफिया इनपुट पर भारतीय सेना और जम्मू और कश्मीर के पुलिस ने संयुक्त तौर पर जंगल में आतंकियों के खिलाफ सर्च ऑपरेशन शुरू किया है. पटनीटोप इलाके में ऑपरेशन जारी है. आतंकियों के साथ सेना संपर्क में है.' यह तो तय है कि आतंकियों को सेना ढूंढकर मार देगी लेकिन स्वतंत्रता दिवस से पहले एक बड़ा जख्म देशवासियों को मिल गया है.

दिल्ली में रक्षा मंत्री की कश्मीर के हालात पर अहम बैठक

चीफ ऑफ आर्मी द आर्मी स्टाफ (COAS), जनरल उपेंद्र द्विवेदी, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार और दिग्गज अधिकारियों के साथ रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने एक बैठक की है. जम्मू और कश्मीर के हालात पर रक्षा मंत्री मंथन कर रहे हैं. केंद्र शासित प्रदेश में आए दिन भीषण हमले हो रहे हैं, सैनिकों की जान जा रही है. डोडा के हालात पर भी मंथन चल रही है.

कहां से डोडा में घुसे हैं आतंकी?

आतंकी डोडा में पाटनीटोप के जंगलों के रास्ते घुसे हैं. उधमपुर जिले के इस हिस्से में सुरक्षाबलों और आतंकियों के बीच जमकर फायरिंग भी हुई थी. अधिकारियों के मुताबिक मंगलवार से ही सुरक्षाबल आतंकियों को ट्रेस कर रहे हैं. दोनों पक्षों से लगातार गोलीबारी हुई फिर थोड़ी देर के लिए फायरिंग रुक गई. रातोरात सेना के जवान यहां शिफ्ट हुए. दिन के उजाले में सर्च ऑपरेशन चलाया गया लेकिन आतंकियों की गोली का एक जवान शिकार बन गया.

1 महीना, 10 हमले, 15 जवान शहीद, कब थमेगी शहादत?

जम्मू और कश्मीर में जुलाई महीने में ही 15 बड़े आतंकी हमले हुए हैं, जिसमें 15 जवन शहीद हो गए हैं. 14 आतंकियों को मारा जा चुका है. पुंछ से लेकर कुलगाम तक बार-बार आतंकी हमले हो रहे हैं. आतंकी, पहाड़ियों में छिपकर हमला बोल रहे हैं और जवानों की जान जा रही है.  7 जुलाई कुलगाम में दो जवान शहीद हुए थे, तब से लेकर अब तक कुल 15 जवान मारे गए हैं.