Madhya Pradesh News: मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने दावा किया है कि दुनिया का मानक समय आज से करीब 300 साल पहले भारत द्वारा निर्धारित किया गया था. समय का पता लगाने का एक उपकरण आज भी उज्जैन में उपलब्ध है. इसके अलावा सीएम यादव ने कहा कि मध्य प्रदेश में उनकी सरकार प्राइम मेरिडियन, देशांतर की रेखा को इंग्लैंड के ग्रीनविच से उज्जैन तक शिफ्ट करने के लिए काम करेगी. बताया गया है कि यादव की यह टिप्पणी राज्य विधानसभा में राज्यपाल को जवाब देते समय सामने आई है.
पश्चिमीकरण के खिलाफ मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री ने कहा कि भारत का मानक समय लगभग 300 साल पहले दुनिया में जाना जाता था. हालांकि पेरिस ने समय निर्धारित करना शुरू कर दिया और बाद में इसे अंग्रेजों ने अपनाया. जो ग्रीनविच को प्राइम मेरिडियन मानते थे.
सीएम मोहन यादव ने रात 12 बजे नए दिन की शुरुआत पर भी सवाल उठाया. उन्होंने कहा कि कोई भी अपना दिन आधी रात को शुरू नहीं करता. लोग या तो सूर्योदय के साथ उठते हैं या कुछ देर बाद. सीएम यादव ने कहा कि हमारी सरकार यह साबित करने के लिए काम कर रही है कि उज्जैन वैश्विक प्रधान मध्याह्न रेखा है और हम दुनिया के समय को सही करने पर जोर देंगे.
प्राचीन हिंदू खगोलीय मान्यताओं के अनुसार एक समय में उज्जैन को भारत का केंद्रीय मध्याह्न रेखा माना जाता था और यह शहर देश के समय क्षेत्र और समय के अंतर को निर्धारित करता था. यह हिंदू कैलेंडर में समय का आधार भी है.
इससे पहले सोमवार को सीएम यादव ने कहा कि उनकी सरकार राज्य में धार्मिक स्थलों के सांस्कृतिक पुनरुद्धार के लिए एक रोडमैप तैयार कर रही है. उन्होंने कहा कि प्रस्तावित योजना में उज्जैन के महाकाल लोक से लेकर ओरछा, सलकनपुर और मैहर तक के स्थान शामिल हैं.
ओरछा श्री राम राजा मंदिर के लिए प्रसिद्ध है, जहां भगवान राम को भगवान और राजा दोनों के रूप में पूजा जाता है, जबकि सलकनपुर और मैहर देवी विंध्यवासिनी और शारदा देवी से जुड़े स्थल हैं.