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बूंद-बूंद के लिए तरस रही थी दिल्ली, अब आएगी बाढ़! समझिए क्या होने वाला है

राजधानी दिल्ली में पिछले साल बाढ़ ने जो हाहाकार मचाया है उससे सबक लेते हुए अब दिल्ली सरकार अलर्ट मोड पर आ गई है. अफसरों का कहना है कि हथिनी कुंड बैराज से पानी छोड़ने की मात्रा अधिक होने के बाद यमुना के लेवल में हल्की बढ़ोतरी हुई है लेकिन इसका प्रभाव दो दिन में दिखेगा. बाढ़ की स्थिति पैदा होने की संभावना से पहले ही सभी एजेंसियों को सक्रिय कर दिया गया है.

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Edited By: India Daily Live
Delhi floods
Courtesy: Social Media

देश की राजधानी दिल्ली में मूसलाधार बारिश से पहले ही दिल्ली में बाढ़ का खतरा सताने लगा है. दिल्ली सरकार बाढ़ की किसी भी स्थिति से निपटने के लिए कमर कस चुकी है. इस सीजन में पहली बार हथिनी कुंड बैराज के गेट नंबर 5 को खोल कर पानी को बड़ी यमुना में डायवर्ट किया गया है. हरियाणा के यमुनानगर जिले में हथिनी कुंड बैराज पर शनिवार को यमुना का जलस्तर बढ़ गया, जिसके बाद इसे दिल्ली के लिए डायवर्ट कर दिया गया. पहाड़ी इलाकों में खासकर उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश में भारी बारिश के चलते यमुना में बाढ़ के आसार दिख रहे हैं. 

साउथ एशिया नेटवर्क ऑन डैम्स, रिवर्स एंड पिपल्स के भीम सिंह रावत ने कहा कि 2023 में जुलाई के महीने में यमुना की बाढ़ से काफी संख्या में लोग प्रभावित हुए थे. उस बाढ़ से स्थिति साफ है कि DDA, NHAI आदि यमुना के फ्लड प्लेन की अहमियत समझने में और उसे दुरुस्त करने में विफल रहे हैं. 

दिल्ली में बाढ़ का संकट!

फरवरी 2024 में पार्लियामेंट्री कमिटी रिपोर्ट में भी CWC ने बाढ़ आने के लिए वजीराबाद बैराज को जिम्मेदार बताया था. उस दिन दो घंटे में इस बैराज से 11,37,020 क्यूसेक पानी छोड़ा गया था लेकिन इस रिपोर्ट में बारिश के आंकड़े या अन्य कोई विश्लेषण नहीं हैं. इस रिपोर्ट में आईटीओ बैराज के पांच गेट बंद होने को भी बाढ़ के लिए जिम्मेदार बताया गया है. 

गाद बनी बाढ़ की समस्या?

यमुना एक्टिविस्ट प्रीतम सिंह के अनुसार बाढ़ आए एक साल हो चुका है लेकिन ITO बैराज पर गाद निकालने का काम धीमी गति से आगे चल रहा है. बाढ़ नियंत्रण एवं सिंचाई विभाग ने करीब दो महीने पहले ही यह काम शुरू किया है. बाढ़ के समय बांध की ऊंचाई बढ़ाने की बात की गई थी लेकिन यह काम भी अब तक नहीं हुआ है. 

18,865 क्यूसेक पानी छोड़ा गया

यमुना के पास निचले इलाकों में रहने वाले लोग अब सावधान हो जाएं. ऐसा इसलिए क्योंकि उत्तराखंड और हिमाचल में कुछ दिनों से लगातार बारिश के बाद हरियाणा के हथिनी कुंड बैराज पर पानी अधिक मात्रा में आने लगा है. शनिवार यानी कल सुबह 11 बजे हथिनी कुंड बैराज से यमुना में 18,865 क्यूसेक पानी छोड़ा गया है. इस सीजन में पहली बार इतनी अधिक मात्रा में हथिनी कुंड बैराज से पानी छोड़ा गया है. इससे पहले यहां औसतन 352 से 400 क्यूसेक पानी छोड़ा जा रहा था. 

यमुना में पानी के लेवल की हुई बढ़ोतरी

अफसरों के अनुसार हथिनी कुंड बैराज से पानी छोड़ने की मात्रा अधिक होने के बाद यमुना के लेवल में हल्की बढ़ोतरी हुई है लेकिन इसका प्रभाव अगले दिन देखने को मिलेगा. यहां तक पानी पहुंचने में करीब 36 घंटे का समय लगता है यानी आज शाम से सोमवार सुबह तक यमुना की क्या स्थिति रह सकती है. ये साफ हो जाएगा. 

अलर्ट मोड पर दिल्ली की सरकार

भारी बारिश के कारण देश के कई हिस्सों में बाढ़ आ गई है तो वहीं कई जगहों पर बाढ़ का खतरा मंडरा रहा है. दिल्ली में पिछले साल बाढ़ ने जो हाहाकार मचाया है उससे सबक लेते हुए अब दिल्ली सरकार अलर्ट मोड पर आ गई है. बाढ़ की स्थिति पैदा होने की संभावना से पहले ही सभी एजेंसियों को सक्रिय कर दिया गया है.