Election Commission Reply to Jairam Ramesh: चुनाव आयोग (Election Commission) ने EVM-VVPAT को लेकर कांग्रेस (Congress) के दावों को खारिज कर दिया है. कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जयराम रमेश (Jairam Ramesh) को भेजे जवाब में आयोग ने कहा कि पेपर पर्चियों संबंधी नियम कांग्रेस पार्टी के नेतृत्व वाली सरकार की तरफ से 2013 में पेश किए गए थे.
विपक्षी गठबंधन ने 19 दिसंबर को एक बैठक में इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (EVM) की कार्यप्रणाली को लेकर संदेह व्यक्त किया था और मांग की थी कि वीवीपैट पर्चियां मतदाताओं को सौंपी जाएं, जो इसे एक अलग बॉक्स में डाल सकें. विपक्षी गठबंधन ने पर्चियों और ईवीएम के 100 फीसदी मिलान की मांग की थी. इसके बाद जयराम रमेश ने हाल ही में मुख्य चुनाव आयुक्त (CEC) राजीव कुमार को पत्र लिखा था और कहा था कि इंडियन नेशनल डेवलपमेंटल इन्क्लूसिव अलायंस (इंडिया) के एक प्रतिनिधिमंडल को वीवीपैट पर्चियों पर अपने विचार रखने के लिए समय दिया जाए.
चुनाव आयोग ने अब जयराम रमेश के पत्र का जवाब दिया है. आयोग ने कहा कि ईवीएम पर लगाए गए उनके आरोप पूरी तरह बेबुनियाद हैं और चुनाव आयोग को ईवीएम पर है पूरा भरोसा है. निर्वाचन आयोग में प्रधान सचिव प्रमोद कुमार शर्मा ने पत्र में कहा, ''वीवीपैट के संचालन और पेपर पर्चियों से संबंधित चुनाव संचालन नियम, 1961 के नियम 49ए और 49एम को आईएनसी (भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस) द्वारा 14 अगस्त, 2013 को पेश किया गया था.'' शर्मा ने कहा, ''ईवीएम का उपयोग करके कराए गए चुनावों के नतीजों, कानूनी ढांचे, स्थापित न्यायशास्त्र, तकनीकी सुरक्षा और प्रशासनिक रक्षा उपायों के आधार पर, आयोग को चुनावों में ईवीएम के उपयोग पर पूरा भरोसा है.''
आयोग ने बताया कि राजनीतिक दल और उम्मीदवार एफएलसी, स्टोरेज, परिवहन, प्रशिक्षण, मॉक पोल, मतदान शुरू होने, मतदान बंद होने और गिनती से लेकर ईवीएम के प्रबंधन के हर चरण में जुड़े होते हैं. आयोग ने कहा कि ईवीएम के सभी पहलुओं जैसे ‘नॉन-टैंपरिंग, नॉन-हैकिंग, माइक्रो कंट्रोलर’, शुरू से अंत तक सत्यापन, कानूनी प्रावधान, गिनती, तकनीकी क्षमता, विनिर्माण और स्रोत कोड को शामिल करने वाले मुद्दों का पहले ही समाधान किया जा चुका है.