Cow Slaughter Man Lynching: 'देश-दुनिया के कई हिस्सों में लोग मांस खाते हैं', गाय और मॉब लिंचिंग पर RSS नेता की अपील
Cow Slaughter Man Lynching: राष्ट्रीय स्वंयसेवक संघ नेता इंद्रेश कुमार ने विभिन्न धर्मों के बीच शांति को बढ़ावा देने के लिए मानव और गाय दोनों की लिंचिंग को समाप्त करने का आग्रह किया. उन्होंने जाति आधारित जनगणना के लिए RSS चीफ मोहन भागवत का समर्थन किया. इसके अतिरिक्त, उन्होंने सामाजिक सद्भाव को बढ़ावा देने के उद्देश्य से बिहार में एक राज्यव्यापी कार्यक्रम की घोषणा की.
Cow Slaughter Man Lynching: राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के सीनियर प्रचारक और राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य इंद्रेश कुमार ने रविवार को कहा कि देश में किसी व्यक्ति की लिंचिंग और गाय की हत्या नहीं होनी चाहिए. उन्होंने कहा कि ऐसा नहीं होने से सभी धर्मों के लोग शांति से रह सकते हैं. विभिन्न राज्यों में गौरक्षकों की ओर से अल्पसंख्यक समुदायों के लोगों की लिंचिंग की लगातार घटनाओं के बारे में पूछे जाने पर इंद्रेश ने अपनी प्रतिक्रिया दी.
मॉब लिंचिंग की घटनाओं को लेकर इंद्रेश कुमार ने कहा कि देश और दुनिया के कई हिस्सों में लोग मांस खाते हैं. लेकिन हमें यह समझना चाहिए कि लोग गायों को लेकर संवेदनशील हैं. इसलिए, हमें ऐसा माहौल बनाने का प्रयास करना चाहिए जिसमें 'गाय की लिंचिंग' और 'मनुष्य की लिंचिंग' न हो. हमें देश में विविधता में एकता का जश्न मनाना चाहिए.
जाति जनगणना के पक्ष में मोहन भागवत के विचारों पर क्या बोले इंद्रेश?
विपक्षी दल आमतौर पर गोरक्षकों की ओर से लिंचिंग की लगातार घटनाओं के लिए आरएसएस की एक शाखा भाजपा को दोषी ठहराते हैं. एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए, इंद्रेश ने कहा कि आरएसएस अपने प्रमुख मोहन भागवत की ओर से जाति-आधारित जनगणना के पक्ष में व्यक्त किए गए विचारों का समर्थन करता है. उन्होंने कहा कि मोहन भागवत ने जो कहा है, वो एक राय है जिसका आरएसएस के सभी स्वयंसेवक पालन करेंगे. जाति एक वास्तविकता है जिसे हम नकार नहीं सकते. लेकिन हमें जातिवाद के जहर को दूर रखने का ध्यान रखना चाहिए.
इंद्रेश, जो 'पंचम धाम न्यास' के संरक्षक भी हैं, ने कहा कि अंतर्राष्ट्रीय सांस्कृतिक संगठन के बिहार यूनिट ने गणेश चतुर्थी पर मधेपुरा जिले से एक कार्यक्रम शुरू किया है, जो 2025 में महा शिवरात्रि पर समाप्त होगा. राज्यव्यापी कार्यक्रम का उद्देश्य एक ऐसा समाज बनाना है जो दंगों और जाति-आधारित भेदभाव से मुक्त हो और जिसमें गरीबों के प्रति करुणा हो. कार्यक्रम की शुरुआत मधेपुरा जिले के सिंहेश्वर महादेव स्थान से की गई और यह राज्य भर के 108 शिव मंदिरों को कवर करेगा.
आरएसएस पदाधिकारी ने कहा कि अंतिम चरण में, पटना में एक पखवाड़े तक चलने वाला भव्य 'पंचम धाम महा मृत्युंजय यज्ञ' आयोजित किया जाएगा, जो 12 फरवरी को संत रविदास की जयंती के साथ शुरू होगा और 26 फरवरी को समाप्त होगा जब अगले साल महा शिवरात्रि मनाई जाएगी.
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