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India Daily

वक्फ संशोधन विधेयक पर बीजेडी का यू-टर्न, राज्यसभा सांसदों को पार्टी व्हिप जारी नहीं किया

बीजू जनता दल के सांसद सस्मित पात्रा ने कहा कि हमारी पार्टी ने इन विचारों पर सावधानीपूर्वक विचार करते हुए, राज्यसभा में हमारे माननीय सदस्यों को न्याय, सद्भाव और सभी समुदायों के अधिकारों के सर्वोत्तम हित में अपने विवेक का प्रयोग करने की जिम्मेदारी सौंपी है, यदि विधेयक मतदान के लिए आता है. कोई पार्टी व्हिप नहीं है.

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Edited By: Gyanendra Sharma
naveen patnaik
Courtesy: Social Media

बीजू जनता दल के सांसद सस्मित पात्रा ने कहा कि हमारी पार्टी ने हमेशा धर्मनिरपेक्षता और समावेशिता के सिद्धांतों को कायम रखा है, सभी समुदायों के अधिकारों को सुनिश्चित किया है. पात्रा ने वक्फ संशोधन विधेयक को लेकर कहा कि पार्टी अल्पसंख्यक समुदाय की भावनाओं को ध्यान में रखते हुए निर्णय लेगी।  बाद में बीजद ने वक्फ संशोधन विधेयक पर यू-टर्न लेते हुए अपने सांसदों से कहा कि आज राज्यसभा में पार्टी का कोई व्हिप नहीं है. 

सस्मित पात्रा ने एक्स पर लिखा कि बीजू जनता दल ने हमेशा धर्मनिरपेक्षता और समावेशिता के सिद्धांतों को कायम रखा है और सभी समुदायों के अधिकारों को सुनिश्चित किया है. हम वक्फ (संशोधन) विधेयक, 2024 के संबंध में अल्पसंख्यक समुदायों के विभिन्न वर्गों द्वारा व्यक्त की गई विविध भावनाओं का गहरा सम्मान करते हैं. हमारी पार्टी ने इन विचारों पर सावधानीपूर्वक विचार करते हुए, राज्यसभा में हमारे माननीय सदस्यों को न्याय, सद्भाव और सभी समुदायों के अधिकारों के सर्वोत्तम हित में अपने विवेक का प्रयोग करने की जिम्मेदारी सौंपी है, यदि विधेयक मतदान के लिए आता है. कोई पार्टी व्हिप नहीं है.

पहले क्या कहा था? 

यह बयान पात्रा द्वारा बुधवार को दिए गए बयान के बाद आया है जिसमें उन्होंने कहा था कि बीजद के राज्यसभा सांसद मुजीबुल्ला खान मुस्लिम समुदाय का प्रतिनिधित्व करेंगे और विधेयक के संबंध में पार्टी की चिंताओं को सदन में रखेंगे. पात्रा ने यह भी कहा कि पार्टी विधेयक से संतुष्ट नहीं है और दावा किया कि केंद्र ने संयुक्त संसदीय समिति की समीक्षा के बाद कुछ बिंदुओं में संशोधन किया है. लोकसभा में करीब 12 घंटे की बहस के बाद, राज्यसभा में वक्फ (संशोधन) विधेयक पर चर्चा जारी है. 

लोकसभा में वक्फ संशोधन विधेयक पारित 

बुधवार (2 अप्रैल) को लोकसभा ने मैराथन और गरमागरम बहस के बाद वक्फ संशोधन विधेयक पारित कर दिया. इस दौरान भारतीय जनता पार्टी के सदस्यों ने इस विधेयक का कड़ा विरोध किया, जबकि भाजपा और उसके सहयोगियों ने इसका पुरजोर समर्थन करते हुए कहा कि इससे पारदर्शिता आएगी और वक्फ बोर्डों की कार्यकुशलता बढ़ेगी. इस विधेयक को पारित करने के लिए संसद के निचले सदन में आधी रात से भी ज्यादा देर तक बैठक हुई.