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India Daily

रामलला प्राण प्रतिष्ठा से पहले दुल्हन की तरह सज रही अयोध्या! रामायण-युग के पौधे और विलुप्त पेड़ लगाने की तैयारी

 रामलला प्राण प्रतिष्ठा समारोह से पहले अयोध्या विकास प्राधिकरण शहर भर में रामायण-युग के पौधे और विलुप्त पेड़ लगाने की तैयारी में है.

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Edited By: Avinash Kumar Singh
 Ayodhya

हाइलाइट्स

  • बाल रूप में होगी भगवान रामलला की मूर्ति
  • रामायण-युग के पौधे और विलुप्त पेड़ लगाने की तैयारी

नई दिल्ली: रामलला प्राण प्रतिष्ठा समारोह से पहले अयोध्या विकास प्राधिकरण शहर भर में रामायण-युग के पौधे और विलुप्त पेड़ लगाने की तैयारी में है. मिल रही जानकारी के मुताबिक लगभग 50,000 पौधे तैयार हैं और जल्द ही अयोध्या पहुंच जाएंगे. नर्सरी संचालक राम प्रकाश राठौड़ ने बताया कि फिलहाल 50,000 पौधों का ऑर्डर है. और भी किस्म के पौधे यहां आएंगे और उन्हें अलग-अलग गाड़ियों की मदद से उन्हें भेजा जा रहा है. अयोध्या विकास प्राधिकरण के उपाध्यक्ष विशाल सिंह ने कहा कि प्राधिकरण उन पौधों को बढ़ावा दे रहा है जिनका उल्लेख रामायण में किया गया है. इसके अलावा हम उन पौधों को भी बढ़ावा दे रहे हैं जो विलुप्त हो रहे हैं. इसके अलावा हम फूलों के लिए बागवानी सौंदर्यीकरण भी कर रहे हैं.

भगवान रामलला की मूर्ति का हुआ चयन 

अयोध्या में राम मंदिर में स्थापित की जाने वाली भगवान राम की मूर्ति का चयन कर लिया गया है. राम मंदिर ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने जानकारी साझा करते हुए बताया कि भगवान रामलला की प्रतिमा 51 इंच ऊंची है, जो काले पत्थर से बनी है और बहुत ही आकर्षक ढंग से बनाई गई है. भगवान राम की मूर्ति का चयन चेहरे की कोमलता, आंखों की सुंदरता, मुस्कुराहट और शरीर सहित अन्य चीजों को ध्यान में रखते हुए किया गया है. उन्होंने कहा कि पानी और दूध का पत्थर पर कोई प्रतिकूल प्रभाव नहीं पड़ेगा.

रामलला प्राण प्रतिष्ठा के लिए 84 सेकंड का मुहूर्त 

अयोध्या में रामलला प्राण-प्रतिष्ठा समारोह के लिए वैदिक अनुष्ठान 16 जनवरी को शुरू होगा. वाराणसी के वैदिक विद्वान लक्ष्मी कांत दीक्षित 22 जनवरी को राम लला के अभिषेक समारोह का मुख्य अनुष्ठान करेंगे. 22 जनवरी को रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के लिए 84 सेकंड का अति सूक्ष्म मुहूर्त निकाला गया है. जो 12 बजकर 29 मिनट 8 सेकंड से 12 बजकर 30 मिनट 32 सेकंड तक होगा. मध्‍याह्न काल में मृगशिरा नक्षत्र में 84 सेकेंड के मुहूर्त में प्रधानमंत्री मोदी रामलला के विग्रह की आंखों में बंधी पट्टी यानी दिव्‍य दृष्टि खोलने के बाद काजल व टीका लगाने के साथ-साथ भगवान रामलला की महाआरती करेंगे.