नई दिल्ली: अयोध्या में भव्य राममंदिर बनकर तैयार हो रहा है. राममंदिर के गर्भगृह में रामलला बाल स्वरूप में विराजेंगे. मंदिर निर्माण के साथ-साथ भगवान रामलला की मूर्ति भी बनाकर तैयार हो गई है. कर्नाटक के दो और राजस्थान के एक पत्थर से कुल तीन मूर्तियों बनाई गई हैं. ऐसे में इस उम्मीद जताई जा रही है कि इसी हफ्ते राम मंदिर ट्रस्ट और उससे जुड़ी धार्मिक समिति की मूर्तियों को देखेंगी. उसके बाद 15 दिसंबर तक इनमें से सबसे आकर्षक मूर्ति का चयन किया जाएगा.
22 जनवरी को नवनिर्मित राम मंदिर में रामलला की मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा होगी. प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम में मुख्य यजमान के तौर पर पीएम मोदी शामिल होंगे. ज्योतिषियों और वैदिक पुजारियों से सलाह के बाद श्री राम जन्मभूमि तीरथ क्षेत्र ट्रस्ट ने 22 जनवरी को दोपहर 12 बजे से 12.45 बजे के बीच राम मंदिर के गर्भगृह में राम लला को विराजमान करने का फैसला किया है. जहां देश के तमाम संतगण और गणमान्य लोग मौजूद रहेंगे. ट्रस्ट ने राम लला के प्राण-प्रतिष्ठा समारोह के लिए सभी संप्रदायों के 4,000 संतों को आमंत्रित पत्र भेजा है. पूरे प्राण प्रतिष्ठा के पूजन का आचार्यत्व काशी के विद्वान पंडित लक्ष्मीकांत दीक्षित करेंगे. देश भर से अलग-अलग शाखाओं के 121 ब्राह्मण इस पूजन को संपादित कराएंगे, जिसमें काशी से ही लगभग 40 विद्वान शामिल होंगे.
श्री राम जन्मभूमि मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा का कार्यक्रम का लाइव प्रसारण सभी गांवों और नगरों में होगा. प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम के 10 दिन पहले से सभी जगहों पर राम नाम संकीर्तन शुरू किया जाएगा. 5 लाख से अधिक मंदिरों में राम नाम संकीर्तन शुरू कराया जाएगा और इसमें सिख, जैन समेत सभी धर्मों के धर्मावलंबियों को जोड़े जाने की योजना है. कार्यक्रम के बाद मौजूद लोगों को तो प्रसाद दिया ही जाएगा साथ ही घर-घर प्रसाद भी बांटने की योजना भी है. इसके लिए श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट की ओर से तमाम तैयारियां को मुकम्मल रुप दिया जा रहा है.