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India Daily

भारत में कैंसर से हार रहीं महिलाएं, हर 5 में से 3 लोग गंवाते हैं जान- ICMR

ICMR की नई रिसर्च के अनुसार भारत में कैंसर के इलाज के बाद भी 5 में से 3 लोगों की मौत हो रही है, इसकी वजह जानने के लिए पूरा आर्टिकल पढ़े

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Edited By: Anvi Shukla
ICMR REPORT ON CANCER
Courtesy: pinterest

Cancer Diagnosis Death In India: जब बात आती है हेल्थ की तो कोम्प्रोमाईज कैसा? लेकिन इलाज के बाद भी अगर मृत्यु हो जाए तो...? हाल ही में ICMR ने एक रिपोर्ट जारी की है जिसमें कैंसर से ठीक होने वालों की संख्या भी डेथ रेट में गिनी जा रही है. ICMR ने एक नयी रिपोर्ट तैयार करी है. इसके अनुसार भारत में अगर किसी को कैंसर होता है, तो हर पांच में से तीन लोगों की मौत हो जाती है. मतलब, अगर पांच लोगों को कैंसर हुआ, तो उनमें से तीन लोग बच नहीं पाते.

यह 'द लैंसेट रीजनल हेल्थ साउथईस्ट एशिया' नाम की एक मैगजीन में छपी है. इसमें यह भी बताया गया है कि कैंसर से महिलाओं को पुरुषों से ज्यादा दिक्कतें झेलनी होती है.

कैंसर के ग्लोबल रेट्स क्या है? दुनिया भर के आंकड़ों की बात करें तो पता चलता है कि अमेरिका में अगर चार लोगों को कैंसर होता है, तो उनमें से एक की मौत होती है. चीन में अगर दो लोगों को कैंसर होता है, तो उनमें से एक की मौत होती है. लेकिन भारत में स्थिति ज्यादा खराब है. भारत में कैंसर के मामले चीन और अमेरिका के बाद सबसे ज्यादा हैं. और दुनिया भर में कैंसर से जितनी मौतें होती हैं, उनमें से 10 प्रतिशत से ज्यादा मौतें भारत में होती हैं.

आने वाले 20 सालों में भारत को कैंसर से होने वाली मौतों से निपटना बहुत मुश्किल होगा. क्योंकि जैसे-जैसे लोगों की उम्र बढ़ेगी, वैसे-वैसे कैंसर के मामले भी हर साल 2 प्रतिशत बढ़ते जाएंगे. पिछले 20 सालों में भारत में अलग-अलग उम्र के लोगों और पुरुषों और महिलाओं में 36 तरह के कैंसर के बारे में पता लगाया. उन्होंने 'ग्लोबल कैंसर ऑब्जर्वेटरी' और 'ग्लोबल हेल्थ ऑब्जर्वेटरी' नाम की वेबसाइटों से जानकारी ली.

भारत में अगर किसी को कैंसर होता है, तो लगभग पाँच में से तीन लोगों की मौत हो जाती है:

रिसर्च पता चला कि पुरुषों और महिलाओं दोनों को होने वाले 5 सबसे आम कैंसर भारत में कैंसर के 44 प्रतिशत मामलों के लिए जिम्मेदार हैं. लेकिन महिलाओं को ज्यादा परेशानी होती है. क्योंकि स्तन कैंसर सबसे ज्यादा होता है, जो 13.8 प्रतिशत नए मामलों में होता है, और गर्भाशय ग्रीवा का कैंसर तीसरा सबसे ज्यादा (9.2 प्रतिशत) होता है.

महिलाओं में, लगभग 30 प्रतिशत नए मामले ब्रैस्ट कैंसर के होते हैं, और 24 प्रतिशत से ज्यादा मौतें इसी से होती हैं. इसके बाद यूट्रीन सर्विक्स  का कैंसर होता है, जिससे 19 प्रतिशत से ज्यादा नए मामले और लगभग 20 प्रतिशत मौतें होती हैं. पुरुषों में, माउथ कैंसर सबसे ज्यादा होता है, जो 16 प्रतिशत नए मामलों में होता है, इसके बाद सांस (8.6 प्रतिशत) और भोजन नली (6.7 प्रतिशत) का कैंसर होता है.

रिसर्च में ये भी देखा गया कि अलग-अलग उम्र के लोगों में कैंसर अलग-अलग होता है. सबसे ज्यादा कैंसर 70 साल और उससे ज्यादा उम्र के लोगों में होता है. 15 से 49 साल के लोगों में भी कैंसर के मामले ज्यादा होते हैं, और उनसे 20 प्रतिशत मौतें होती हैं.

इसके अलावा, कम उम्र और बूढ़े लोगों को कैंसर होने की संभावना 8-10 प्रतिशत ज्यादा होती है और इससे मरने की संभावना 5-7 प्रतिशत ज्यादा होती है. उन्होंने कहा कि भारत में कैंसर के बढ़ते मामलों से निपटने के लिए तुरंत कदम उठाने की जरूरत है, क्योंकि 70 प्रतिशत मामले और मौतें कम उम्र और बूढ़े लोगों में होती हैं.