हाल ही में टीवी शो India's Got Latent में एक विवाद ने सबका ध्यान खींचा, जब एक प्रतियोगी ने डार्क ह्यूमर का इस्तेमाल किया, जिससे शो पर विवाद खड़ा हो गया. इस मामले में राजनीतिक विश्लेषक तहसीन पूनावाला ने अपनी प्रतिक्रिया दी और इस पर खुलकर विचार व्यक्त किए.
तहसीन पूनावाला ने इस विवाद पर टिप्पणी करते हुए कहा, "अगर आपको डार्क ह्यूमर पसंद नहीं है, तो आपको ऐसे शो से दूरी बनानी चाहिए." उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि हर व्यक्ति का हंसी और मजाक को समझने का तरीका अलग हो सकता है, और डार्क ह्यूमर के साथ भी कई लोग सहज महसूस करते हैं. उनका मानना है कि यह एक व्यक्तिगत पसंद का मामला है और लोगों को अपनी संवेदनाओं के हिसाब से तय करना चाहिए कि वे क्या देखना पसंद करते हैं. डार्क ह्यूमर, जो सामान्यतः संवेदनशील और कठिन विषयों पर मजाक उड़ाने के लिए इस्तेमाल होता है, समाज में मिश्रित प्रतिक्रियाएँ उत्पन्न करता है. जहां कुछ लोग इसे समाज की कठिन सच्चाइयों को हंसी में बदलने का एक तरीका मानते हैं, वहीं कई लोग इसे अनुशासनहीन और आपत्तिजनक मानते हैं. India's Got Latent के इस विवाद ने एक बार फिर इस विषय पर बहस को जन्म दिया है.
तहसीन पूनावाला का मानना है कि इस प्रकार के शो में कंटेंट के लिए जवाबदेही होनी चाहिए, लेकिन लोगों को इसे व्यक्तिगत रूप से न लेकर एक खुला विचार और मनोरंजन के रूप में देखना चाहिए. उनके अनुसार, शो के आयोजकों को दर्शकों की प्रतिक्रियाओं का सम्मान करना चाहिए, लेकिन कलाकारों को अपनी कला के लिए भी स्वतंत्रता मिलनी चाहिए. इस विवाद ने एक बार फिर डार्क ह्यूमर और उसकी सामाजिक स्वीकार्यता पर चर्चा शुरू कर दी है. तहसीन पूनावाला के बयान के बाद, यह बात साफ हो गई है कि डार्क ह्यूमर का मुद्दा व्यक्तिगत पसंद पर आधारित है और इसे किसी एक दृष्टिकोण से नहीं देखा जा सकता. अब यह देखना होगा कि शो के आयोजक इस विवाद को किस तरह से सुलझाते हैं और भविष्य में ऐसे मामलों से निपटने के लिए क्या कदम उठाएंगे.