धनबाद से हैवी वेट उम्मीदवारों के बिच ग्रेजुएट ट्रांसजेंडर, थर्ड जेंडर की अध्यक्ष उड़ा सकती है नेताओं की नींद

धनबाद से हैवी वेट उम्मीदवारों के बीच ग्रेजुएट ट्रांसजेंडर सुनैना सिंह भी चुनावी दंगल में उतरी हैं. इस बार दिलचस्प मुकाबले के पूरे आसार दिख रहे हैं. थर्ड जेंडर की अध्यक्ष राष्ट्रीय पार्टियों की नींद उड़ा सकती है.

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(नीतीश कुमार, धनबाद) देश की कोयला राजधानी धनबाद में चुनावी सरगर्मी तेज हो गयी है. एक ओर जहां भाजपा अपने दबंग विधायक को लोकसभा चुनाव का प्रत्याशी घोषित कर उनके लिए वोट मांग रहे हैं तो दूसरी तरफ महागठबंधन ने अब तक अपना प्रत्याशी घोषित तक नहीं किया है.वहीं, चुनाव में इस बार थर्ड जेंडर की एंट्री ने सबको चौंका कर रख दिया है. थर्ड जेंडर कोयलांचल संघ की अध्यक्ष भी अब सियासी जंग में अपनी किस्मत आजमाने के लिए उतर चुकी है.

वर्तमान राजनीति में थर्ड जेंडर की भागीदारी शून्य है. जबकि एक समय ऐसा था जब देश की पहली ट्रांसजेंडर विधायक और महापौर मध्य प्रदेश से निर्वाचित हुई थीं. ट्रांसजेंडर कमला बुआ और शबनम मौसी के प्रतिनिधि बनने के बाद से ही देश में एक नई राजनीति की शुरुआत हुई थी. इन दोनों ही ट्रांसजेंडर्स ने समाज को समता, समानता का संदेश दिया था. लेकिन बदलते वक्त ने थर्ड जेंडर को राजनीति से बाहर कर दिया.

थर्ड जेंडर संघ की जिला अध्यक्ष हैं सुनैना सिंह
इस बार झारखंड के कोयलांचल में थर्ड जेंडर की चुनावी मैदान में दावेदारी ने उनके समाज में जान फूंक दी है. कोयलांचल के थर्ड जेंडर संघ की जिला अध्यक्ष सुनैना सिंह इस बार लोकसभा चुनाव में अपना ताल ठोक दी है. कल तक जो सभी को दुआएं देने के लिए हाथ उठाते थे आज उसी हाथ को मजबूत करने के मकसद से ट्रांसजेंडर समाज अपनी अध्यक्ष सुनैना सिंह राजपूत के लिए वोट मांग रहा हैं.

कोविड में लोगों को दिया मुफ्त भोजन
सुनैना ने पीके राय मेमोरियल कॉलेज से ग्रेजुएशन की है. उनका पालन पोषण झारखंड ट्रांसजेंडर संघ के प्रदेश अध्यक्ष छमछम देवी ने की है. बचपन से ही पढ़ाई लिखाई और समाज सेवा मे ज्यादा ध्यान देने वाली सुनैना किसी पहचान की मोहता नहीं हैं. कोविड के दौरान अपनी टीम के साथ समाज सेवा में लगी रही. स्टेशन और बस स्टैंड के आस पास की सड़कों पर ठेला लगाने वाले, कूड़ा बीनने वाले, भिखारी, गरीब और कमजोर समूह के लोगो को दो साल तक मुफ्त भोजन की व्यवस्था की.

किन मुद्दों को लेकर चुनाव में जाएंगी सुनैना?
सुनैना का कहना है कि एयरपोर्ट और एम्स जैसे बड़े अस्पताल धनबाद से देवघर चला गया, लेकिन जनप्रतिनिधि मौन रहें. इन सभी मुद्दों को लेकर वह चुनावी मैदान में उतर रही हैं. राष्ट्रीय दलों के उम्मीदवारों के आगे सुनैना जनता को ही अपनी पार्टी मानकर चुनाव लड़ेंगी.  सुनैना कहती हैं कि राजनीति में आने के बाद ज्यादातर लोग भाई-भतीजा वाद करते हैं.उन्होंने कहा कि ट्रांस का कोई भाई-भतीजा नहीं होता, हम हमेशा दूसरों का भला चाहते हैं.