Bihar Politics: बिहार में चिराग पासवान और चाचा पशुपति पारस के बीच सियासी दुश्मनी लम्बे समय से चल रही थी लेकिन अब चिराग के चाचा पारस बैकफुट पर आ गए हैं. एनडीए में शामिल दलों के बीच टिकट बंटवारे में चिराग के खाते में सभी 5 सीट जाने और चाचा पशुपति पारस का खाली हाथ होने के बाद वह अब बैक फुट पर हैं. चाचा पशुपति पारस ने अब हथियार डाल दिया है और न केवल NDA में बने रहने का ऐलान किया है बल्कि हाजीपुर की संसदीय सीट पर भतीजे चिराग के लिए चुनाव प्रचार करने का वादा भी किया है.
चाचा पशुपति पारस को सियासी पटखनी देने के बाद भी चिराग पासवान अब उन्हें माफ़ करने के मूड में नहीं दिख रहे हैं. चाचा के चुनाव प्रचार करने के ऑफर पर चिराग पासवान ने दो टूक संदेश देते हुए नो थैंक्स कह दिया है.
चुनावी अभियान के बाद चिराग पासवान कल देर रात हाजीपुर पहुंचे. इस दौरान कार्यकर्ताओं से मिलने के दौरान जब चाचा पारस की ओर से प्यार बरसाने और चुनाव प्रचार करने के ऑफर पर सवाल किया गया तो चिराग पासवान बिफर गए. उन्होंने कहा कि जो चाचा आज आशीर्वाद बरसा रहे है, आखिर उन्होंने क्यों उनके सिर से उस आशीर्वाद को छीन लिया था. चिराग पासवान ने अपने चाचा के ऑफर को ठुकराते हुए कहा कि वह अब बहुत आगे निकल चुके है और अब उनकी ( चिराग की ) लड़ाई अलग रूप ले चुकी है.
आपको बताते चलें, पार्टी और सियासी विरासत की लड़ाई में चिराग पासवान और पशुपति पारस लम्बे समय से एक दूसरे के आमने सामने खड़े थे और कोई एक दूसरे के सामने झुकने को तैयार नहीं था. हाजीपुर की जिस सीट से चिराग पासवान ने अपनी उम्मीदवारी का ऐलान किया है, उस हाजीपुर सीट को को लेकर चाचा-भतीजा रत्ती भर के लिए भी झुकने को तैयार नहीं थे.
इन सब के बीच राजनीतिक हालात में बदलाव कुछ ऐसे हुए कि खेल अब चिराग पासवान के पाले में है चाचा पारस अब बैकफुट पर नजर आ रहे हैं. हालात इतने बदले की चिराग के लिए कभी किसी भी कीमत पर हाजीपुर की सीट नहीं छोड़ने का दावा करने वाले पशुपति पारस अब हाजीपुर में चुनाव प्रचार करने का औफर दे रहे है.
चिराग पासवान अब अपने चाचा पशुपति पारस के नरम रुख के बावजूद भी उनके खिलाफ बेहद सख्त नजर आ रहे हैं. यही वजह है की चिराग पासवान ने अपने चाचा पारस की ओर से हाजीपुर में उनके लिए चुनाव प्रचार करने के ऑफर को सीधे सीधे रिजेक्ट करते हुए नो थैंक्स कह दिया है.