Gold prices jump 32% in FY25: वित्त वर्ष 2024-2025 सोने के लिए एक सुनहरा वर्ष साबित हुआ. भारतीय सोने की कीमतों में इस दौरान 32% की वृद्धि हुई, जो निफ्टी 50 जैसे प्रमुख शेयर बाजार संकेतकों से कहीं अधिक रही, जिसने इस दौरान केवल 5% की वृद्धि दर्ज की. सोने की बढ़ती कीमतों के कारण निवेशकों और बाजारों में काफी चर्चा हो रही है, और अब यह सवाल उठ रहा है कि क्या सोने की कीमत वित्त वर्ष 2026 में ₹1 लाख प्रति 10 ग्राम के स्तर तक पहुंच सकती है?
अगर हम मार्च 28, 2024 की स्थिति पर नजर डालें, तो सोने की कीमत ₹67,000 प्रति 10 ग्राम के करीब थी, जो अब ₹88,700 तक पहुंच चुकी है. MCX गोल्ड के अनुसार, 28 मार्च 2025 को सोने की कीमत 0.05% की मामूली बढ़ोतरी के साथ ₹88,850 प्रति 10 ग्राम पर स्थिर हुई.
सोने की कीमतों में बढ़ोतरी के प्रमुख कारण
वित्त वर्ष 2025 में सोने की कीमतों में हुई इस आश्चर्यजनक वृद्धि के पीछे कई कारण जिम्मेदार हैं. इनमें प्रमुख हैं:
अमेरिकी फेडरल रिजर्व की दरों में कटौती की उम्मीदें: अमेरिकी फेडरल रिजर्व द्वारा ब्याज दरों में कटौती की संभावना ने अमेरिकी डॉलर को कमजोर किया, जिससे सोने को अधिक आकर्षक बना दिया.
केंद्रीय बैंकों की खरीदारी: विशेष रूप से चीन और अन्य उभरती अर्थव्यवस्थाओं द्वारा सोने की खरीदारी में वृद्धि हुई, जिससे बाजार में सोने की आपूर्ति में कमी आई.
भूराजनीतिक अस्थिरता और व्यापार युद्ध के खतरे: डोनाल्ड ट्रंप की टैरिफ नीतियों ने वैश्विक व्यापार युद्ध की आशंका को बढ़ा दिया, जिससे मुद्रास्फीति और वैश्विक आर्थिक वृद्धि की चिंताएं बढ़ीं. इन घटनाओं ने सोने की मांग को बढ़ाया, क्योंकि सोने को मुद्रास्फीति और आर्थिक अनिश्चितता के खिलाफ एक सुरक्षित बचाव माना जाता है.
महंगाई और आर्थिक मंदी का डर: बढ़ती महंगाई और वैश्विक आर्थिक मंदी की आशंकाओं ने सोने के निवेश को और बढ़ावा दिया, क्योंकि यह पारंपरिक रूप से एक स्थिर निवेश विकल्प माना जाता है.
क्या वित्त वर्ष 2026 में सोने की कीमत ₹1 लाख को छू सकती है?
वर्तमान में सोने की कीमत ₹88,700 प्रति 10 ग्राम के करीब है, और विशेषज्ञों का मानना है कि अगर वैश्विक परिस्थितियां जस की तस बनी रहती हैं, तो अगले वित्तीय वर्ष 2026 में सोने की कीमत ₹1 लाख प्रति 10 ग्राम के स्तर को छू सकती है. हालांकि, यह पूरी तरह से वैश्विक घटनाक्रमों, आर्थिक नीतियों और केंद्रीय बैंकों की खरीदारी पर निर्भर करेगा. यदि अमेरिकी डॉलर में और कमजोरी आती है, महंगाई बढ़ती है और भूराजनीतिक तनाव कायम रहता है, तो सोने की कीमतों में और भी वृद्धि हो सकती है.